अगर तै भगवान कर टोरवा हबस, ता खुद के तरी छो गिराय दे, काखे तोर बारे हे असना लिखररे हबै, कि ऊ अपन स्वरगदूत के आदेस देही, अउ तोके हाथो हाथ हे उठाय लेही, कहुं असना झइ होय कि तोर गोड हे पीरा होय।
जब कबहुन तुम उपास करथा, ता ढोंगहन के जसना तुम्हर मुंह उदास झइ रहै अउ उन अपन मुंह के इहैनिता उतारै रथै, ताकि दूसर मनसे उनखर उपास के जानै, मै तुम्हर लग सही कथो, कि अपन फडुहा पाय चुके हबै।
जब तुम बिनती करत हबा, ता ढोंगहन कर जसना झइ करिहा, उन मनसेन के दिखामै के निता, मंडली हे अउ गली कर मोड हे ठाड हुइ के बिनती करथै, मै तुम्हर लग सही कथो, उनही उनखर फडुहा मिल चुकिस।