“हे ढोंगहा गुरू अउ फरीसी तुमही लानत हबै, तुम मनसेन के निता स्वरग राज कर दूरा के बन्द करथा, न खुद ओहमा घुसथा अउ न उनही जाय देथा, जउन जाय के निता परयास करथै।”
पय कुछ यहूदी अन्ताकिया सहर अउ इकुनियुम लग आयके मनसेन के अपन पल्ला कर लेथै अउ पोलुस के पथरा मारथै, अउ मरे हर समझ के उके नगर के बाहिर छो किढलाय के लइ जथै।
पय यहूदी गुस्सा हे जरत रथै, उन कुछ केराय के गुन्डा के अकजुट करिस अउ अक्ठी समूह बनाय के सहर हे दंगा करवा दइन, उन यासोन के घर धावा बोल दइस अउ हइ परयास करै लगिन, कउनो मेर पोलुस अउ सीलास के मनसेन के लिघ्घो लइ आनै।
पय जब उन मनसे पोलुस कर बिरोध करै अउ बुराई करै लगिन, ता उन अपन बन्डी के धूधुर झार के उनखर लग हइ कथै, तुम्हर खून तुम्हर मूड पडे मोर अन्त करन सुध्द हबै, मै अब लग गैर यहूदिन के लिघ्घो जहुं।
पय उनखर मसे कुछ मनसे ढीठ रथै, उन बिस्वास करै लग मना कर देथै अउ मनसेन समूह के आगू परभु के रास्ता के बेकार कहै लागथै, तब पोलुस बिस्वास करै बालेन के अपन संग लइस, उनके छांडके कढ गइस अउ चेलन के अलगे कर लइस अउ तुरतरुस के पाठसाला हे रोज दिन सिक्छा दे लगिस।
तुम हइ टेम इके नेहको पचाय सकता, काखे तुम अब तक देह के स्वभाव के हबा, तुम्हर मसे जलन अउ झगडा होथै। का हइ बात के सबूत नेहको हबै कि तुम देह के स्वभाव के हबा, अउ दुनिया के मनसेन के रीति हे नेहको चलथै?
मै बेर-बेर यातरा करत रहों, मोके नदियन के खतरा, यहूदिन के खतरा, गैर यहूदिन के खतरा, सरहन के खतरा, पतेरा जिघा के खतरा, समुन्दर के खतरा अउ ठगरा भाई के खतरा के सामना करै का पडिस।