उसब अनङ कैहके परमेस्वरके दास मोसाके भजन आ थुमाके भजन गाबैछेलै, “हे सरबसक्तिमान परभु परमेस्वर! अहाँके काम कतेक महान आ अदभुत छै, हे जाती जातीके रजा! अहाँके बाट धारमिक आ सत छै।
हे स्वरगमे भेल्हासब, उ सहर नास भेलासे खुस हो। हे परमेस्वरके पबितर जनसब, परेरितसब आ अगमबक्तासब सबकोइ आनन्द मना! कथिलेत तोरासबके सताबैके कारन परमेस्वर ओकर नियाय करने छै।