14 जब उसब औरो चेलासब भेल ठाममे घुइमके एलै तब ओते उसबके एकटा बरका भिर चारुकातसे घेरने छेलै आ धरमगुरुसब चेलासब सङे बहस कैररहल छेलै।
उसब येसुके पुछल्कै, “कोन अधिकारसे तु यि कामसब करैचिही? यि अधिकार तोरा के देल्कौ?”
उसब येसु लग आइबके कहल्कै, “गुरु जी, हमसब जानैचियै कि, अहाँ सहि बात बोलैचियै आ ककरो पक्छपात नै करैचियै। अहाँ त परमेस्वरके सत-सत बात सिखाइचियै। आब हमरासबके कहु, हमसब कैसरके कर तिरबै से उचित छै कि नै?”
ओते कुछ धरमगुरुवोसब बैठल छेलै आ मनमने एहेन बिचार कैररहल छेलै,
महज हम तोरासबके कहैचियौ, एलिया आइबगेल छै आ ओकर बारेमे धरमसास्तरमे लिखल बमोजिम लोकसबके जे मन लाग्लै उसब सेह्या करल्कै।”
तब पावल यहुदी सभाघरमे गेलै आ साहसके साथ तिन महिनातक परमेस्वरके राजके बारेमे परचार आ बात-चित करैत लोकसबके बुझाइत रहलै।
पापी लोकसब ओकर बिरोधमे जे बातसब लाबल्कै ओइबातसबके केनङके सहल्कै से बिचार कर आ तुसब नै थाक आ निरास नै हो।