28 ओह्यासब करैले अहाँ आपन सक्तिसे आ आपन योजना अनुसार निस्चित करने रहिहे।
मानबके बेटाके समबन्धमे जे धरमसास्तरमे लिखल छै, तहिने ओकरा जाही परतै, महज धिक्कार छै ओइ लोकके जे मानबके बेटाके पकराइतै। उ लोक जलम नै लेने रहतियै त ओकरलेल असल हेतियै।
महज यदी हम माङतियै त धरमसास्तरमे यीसब हेतै कैहके लिखल बात कनङ पुरा हेतै?
कथिलेत परमेस्वरके इक्छामे मानब पुतरके त मरैए परतै, महज धिक्कार ओइ लोकके, जे कोइ मानब पुतरके धोखा देतै।”
परमेस्वरके आपन निस्चित योजना आ ग्यान अनुसार पकरल गेलै। एह्या येसुके अधरमी लोकसबके हाथसे तुसब कुरूसमे किल्ला ठोइकके मारलिही।
तहिनङ येसुके दुख काटे परतै कैहके परमेस्वर अगमबक्ताके मुहसे करल अगमबानी पुरा करल्कै।
कथिलेत सब बात परमेस्वरके योजना आ इक्छा अनुसार भेलछै। परमेस्वर अपनासबके आपन खुसिसे खिरिस्टमे छानल्कै। यि बात उ पहिनेसे करल योजना अनुसार भेल छेलै।
परमेस्वरके परतिग्या पाबैबला लोकसबके उ आपन करल परतिग्या पक्का छै आ कहियो नै बदलतै कैहके देखाबैके लेल उ किरिया खेल्कै।