35 हुन दिने जिदलदाय संझ होली, तेबे हुन चेलामन ले बल्लो, “ईआ, आमी हुनपाट जांवा।”
35 उयी दिन जब साम भई, ते यीसु न चेला हुन का कय्हो, “आव अपुन झील को ओ नो पार चलेहे।”
तेबे ईशु तुरते आपलो चेलामन के ड़ोंगा थाने चेगालो कि हुनमन हुनचो ले पयले गलील चो झील चो हुनपाट जाओत, जिदलदाय ले हुन लोगमन के बिदा करो।
ईशु जिदलदाय आपलो भोंवरक गोटक बड़े भीड़ दकलो तेबे झील चो हुनपाट जातोर हुकुम दिलो।
जिदलदाय ईशु फेर ड़ोंगा ले हुनपाट गेलो, तो गोटक बड़े भीड़ हुनचो लगे रूंड़ा होली। हुन झील चो कटा ची रलो कि
तेबे हुन तुरते आपलो चेलामन के ड़ोंगा थाने चेगतो काजे हट करलो कि हुनमन हुनचो ले पयले हुनपाट बैतसैदा ने जाओत, जिदलदाय ले कि हुन लोगमन के बिदा करो।
आउर हुन हुनमन के छांडुन भाती फेर ड़ोंगा थाने चेगलो आउर हुनपाट गेलो।
फेर गोटक दिने हुन आउर हुनचो चेलामन ड़ोंगा थाने चेगला, आउर हुन हुनमन ले बल्लो, “ईआ, झील चो हुनपाट जो।” आउर हुनमन डोंगा खोलुन दिला।
तेबे हुन हुनमन ले बल्लो, “तुमचो बिश्वास काहां रये?” मान्तर हुनमन डरला आउर भक्यान भाती आपस ने बोलुक मुरयाला, “ऐ कोन आय जोन लेहरा धुका आउर पानी के बले हुकुम देऊ आय, आउर हुनमन हुनचो मानु आत?”
ऐ गोठमन चो पाचे ईशु गलील चो झील बल्लोने तिबिरियास चो झील चो हुनपाट गेलो।
आउर ड़ोंगा थाने चेगुन भाती झील चो हुनपाट कफरनहूम बाटे जाऊक मुरयाला। हुदलदाय अंधार होली, आउर ईशु ऐबे ले हुनमन चो लगे नी ऐऊ रलो।
झील चो हुनपाट जिदलदाय हुनमन हुनके मिलला तेबे बल्ला, “हे रब्बी, तुय ऐथा केबे ईलीस?”