8 अर उ द्वी एक तन होला इलै उ अब द्वी न पर एक तन च।
8 अर दुई होण की वजै से वु अलग नि होला, बल्किन मा ऊ एक सरील छिन।
इलै जै तैं परमेश्वर ल जोड़ेलि वे तैं मनिख अलग नि कैरो जूं तैं परमेश्वर कु एक करयूं च।”
क्य तुम नि जणदां, कि पिता परमेश्वर का वचन मा लिख्युं च “उ द्वी एक देह होला” त तुम तैं पता हूंण चयणु च कि जु कुई भि वेश्या का दगड़ी जुड़द, उ वीं वेश्या का दगड़ी एक देह हवे जांद।
ईं रीति ल ठिक च, कि स्वामि अपड़ी-अपड़ी जनन बट्टी अपड़ा देह का जन प्रेम रखा, जु अपड़ी जनन बट्टी प्रेम रखदु, उ खुद अपड़ा आप बट्टी प्रेम रखदो।