17 आगुए फिर ल्हयो खबै म्हिल छ्याँब तम्, दिलेया दयाम्हाँया आरेबै म्हिलाइ दुःख तम्।
लोबि म्हिइ ह्रोंसए परवार दु:ख पखम्, दिलेया घुस आकिंबै म्हि सोब्मुँ।
आयों-आख्युब्मैंलाइ पिंबै म्हिइ आशिक योंब्मुँ, तलेबिस्याँ चइ ह्रोंसए चबै सैमैं ङ्हाँदुमैंलाइ चुमिंम्।
अरूए फिर ल्हयो खब्मैंइ आशिक योंब्मुँ, तलेबिस्याँ परमेश्वरजी चमैंए फिर ल्हयो खब्मुँ।
ह्रोंसने मुँबै सैमैं अरूलाज्यै या पिंन् छलस्याँ खाँदि-खाँदिसि, म्युरुरुले ङेयाल्ले परमेश्वरजी झन् ल्हें सैमैं क्हेमैंलाइ पिंब्मुँ। क्हेमैंइ खैले क्होंएँसि पिमुँ, छलेन परमेश्वरजी क्हेमैंलाज्यै या क्होंएँसि पिंब्मुँ।”
ङइ क्हेमैंउँइँले भेटि म्हैब आङिं, क्हेमैंइ ङलाइ ल्होमिंबइले क्हेमैंइ ल्हें आशिक योंरिगे बिब ङए सैं मुँ।
अरूए फिर ल्हयो आखबै म्हिए फिर परमेश्वरज्यै या ल्हयो खरिब् आरे। दिलेया अरूए फिर ल्हयो खइ बिस्याँ, परमेश्वरजी निसाफ लमा क्हेमैं फिरै या ल्हयो खमिंब्मुँ।