40 चमैंइ ङ्हाँदु म्हरेस्योमैंए क्ल्ह्यो न्हें लुडिम्, दिलेया फिब्लो पार्दिसि ह्रिंग्यो ह्रिंग्यो प्राथना लम्। छाबै म्हिमैंइ परमेश्वरउँइँले झन् ल्हें दण्ड योंब्मुँ।”
“धिक्कार मुँ, शास्त्रिमैं नेरो फरिसीमैं, क्हेमैं फिब्लो पार्दिब्मैं! स्वर्गर्बै ग्याल्सर होंल् म्हैबै म्हिमैंलाइ क्हेमैंइ म्रा तोरवाम्। क्हेमैं ह्रोंसै या आहों, होंल् म्हैब्मैंलाज्यै या होंल् आपिं।
[धिक्कार मुँ, शास्त्रिमैं नेरो फरिसीमैं क्हेमैं फिब्लो पार्दिब्मैं! तलेबिस्याँ क्हेमैंइ म्हरेस्योमैंए धिं नाँ लुडिमुँ, धै म्हिमैंइ म्रोंरिगे बिसि ह्रिंग्यो प्राथना लब् प्हैंमुँ। छतसि अरूइ भन्दा क्हेमैंइ थेबै दण्ड योंल् त्हुब्मुँ।]
प्हुरिमैं, ओ साँबे प्हुरिए प्हसेमैं! क्हेमैं नर्गर्बै मिउँइँले खैले स्योल् खाँमुँ?
“झाइले क्हेमैंइ प्राथना लमा परमेश्वर आम्हाँदिब्मैंइ लब् धोंले केर आफेबै ताँफुँमैं फाक्कर्न ल्हेंन् आलद्। ल्हें ताँफुँमैं च्योसि प्राथना लस्याँ परमेश्वरजी खेंमैंइ लबै प्राथना थेम् बिसि चमैंइ मैंम्।
चमैंइ च्हों धिंजरे नेरो भोज चबै क्ल्ह्योजरे मान् योंरिगे ङ्हाँमुँ।
चमैंइ म्हरेस्योमैंए धिं नाँ लुडिमुँ। दिलेया म्हिमैंए उँइँरि बिस्याँ बेल्ले प्राथना लब् प्हैंम्। छाब्मैंइ झन् थेबै सजैं योंब्मुँ।”
छलेन म्हि घ्रिइ क्हेमैंलाइ केब्छैं लवालेया, क्हेमैंए मुइ लुडिवालेया, क्हेमैंलाइ ङोर स्याब् धोंले च्युवालेया, क्हेमैंलाइ प्ह्रलेया, क्हेमैंए क्ह्राँबोर ल्हिलेया क्हेमैंइ ह्रिस आखल्ले सैदिमना!
तलेबिस्याँ चमैं न्होंरि को-कोइ धिं-धिंर होंसि पापइ प्लेंथेंब नेरो सैंर आछ्याँबै इच्छा मैंरिबै च्हमिरिमैंलाइ ह्रोंसए अधीनर थेंम्।