8 अर वे मुलक मा कुछ चरवाह छा, जु की राति का बगत पुंगड़ों मा रै के अपणी भेड़ों की देखभाल करणा छा।
8 अर वे देश मा कुछ बखरौल छा जु राती तपड़ मा रै की अपड़ा झुण्ड की रखवलि करदां छा।
तब वींन अपणा पैला नौना तैं जनम देई, अर वेतैं कपड़ा मा लपेटि के छन्नि की चौंर मा रखी। किलैकि ऊं खुणि धर्मशाळा मा जगा नि छै।
तबरि प्रभु को एक स्वर्गदूत ऊंतैं दिखै, अर प्रभु को तेज ऊंका चौतरफि चमकण लगि गै। तब ऊ भौत जादा डौऽरी गैनी।