हे नए जवानो, तुम सोई धार्मिक बूढ़ों के नेंचें रओ तुम सबरे एक दूजे के लाने दीन और नरम बनो, कायसे परमेसुर घमंडियों कौ सामनो करत आय, परन्त बो दीनो पे दया करत आय।
बड़े बूढ़े जनो, मैं तुम हां ईसे लिखत आंव, कि जौन संसार के पेंला से हते उन हां तुमने मानो आय, जुआनो, मैंने तुम हां ईसे लिखो आय, कि परमेसुर की बातन हां मानो कायसे तुम ऊ दुष्ट छलिया से जीते आव।