15 एलूल मईना के पच्चीसवें दिन हों मतलब बावन दिना के भीतरें सहरपनाह बन चुकी।
जब सहरपनाह बन गई, और मैंने ऊके फाटक ठांड़े करे, और चौकीदार और गवईये, और लेवीय लोग ठैरा दए,