24 ऊ ने आंख उठाके कओ; मैं मान्सन हां तकत आंव; कायसे बे मोहां निंगत भए दिखाई देत आंय, जैसे पेड़।
ऊ ओई अंधरा कौ हाथ पकड़ के ऊहां गांव से बाहर ले गओ, और ऊ की आंखन में थूक के ऊ पै हाथ धरे, और ऊसे पूछो; का तें कछु तकत आय?
तबई ऊ ने दूसरी बेर ऊ की आंखन पै हाथ धरे, और ऊ ने गौर से तको, और ऊ ठीक हो गओ, और सब कछु साफ साफ तकन लगो।