32 जदि तुम अपने प्रेम राखबे वारन के संग्गै प्रेम राखो, तो तुमाई का बड़वाई? कायसे पापी सोई अपने प्रेम राखबे वारन के संग्गै प्रेम राखत आंय।
और जदि तुम अपने भलाई करबे वारन के संग्गै भलाई करत आव, तो तुमाई का बड़वाई? कायसे पापी सोई ऐंसई करत आंय।