13 हाय खुराजीन! हाय बैतसैदा! जौन सक्ति बल के काम तुम में करे गए, जदि बे सूर और सैदा में करे जाते, तो टाट ओढ़ के और राख में बिराज के कब कौ हिया फिरा लेते।
ऐसी सीख उन झूठे मान्सन से आहें, मानो जिन को जी तांते लोहे से दागो गओ होबै।
और मैं अपने दो गवाह को जौ अधकार दै हों, कि बे टाट ओढ़ के एक हजार दो सौ साठ दिना लौ आगमवाणी करें।