तुम अपने बाप शैतान से आव, और अपने बाप की मनकी बात हां पूरो करबो चाहत आव। बो तो शुरु से हत्यारो आय, और सत्य पे टिको नईं रओ, कायसे सत्य ऊ में हैई नईंयां: जब बो झूट बोलत आय, तो अपने गुन से बोलत आय; कायसे बो झूटो आय, और झूट कौ बाप आय।
ऐसई तो पता पड़त आय कि कौन शैतान छलिया, और कौन परमेसुर के मानबेवारे आंय; जौन धरम की गैल नईं चलत, बो परमेसुर को मानबेवारे नईंयां, और न ऊ जनो, जौन अपने भईया से प्रेम नईं करत।