तेरह अपने मोंड़ा अब्राम और अपने पोता लूत, जो हारान कौ मोंड़ा हतो, और अपनी बहू सारै, जो ऊके मोंड़ा अब्राम की घरवारी हती, इन सब हों लैकें कसदियों के ऊर नगर सें कड़कें कनान देस में जाबे हों कड़ो; परन्त हारान नाओं नगर जाकें उतईं रैन लगो।
ई लाने जब अब्राम हों कनान देस में रैत भए दस साल हो चुके तब ऊकी घरवारी सारै ने अपनी मिस्री बंधुआ हाजिरा हों लैकें अपने घरवारे अब्राम हों दओ, कि बा ऊकी घरवारी होए।