18 मैं पौलुस ने अपने हाथन से नमस्कार लिखो आय। मोहां जौन हथकड़ी डली आंय बे कायसे डलीं जौ ध्यान धरियो; परमेसुर की दया तुम पै बनी रैबे। आमीन।
सान्ति कौ परमेसुर सैतान हां झट्टई तुमाए गोड़न तरें कुचरवा दै है। हमाए पिरभु यीशु मसीह की दया तुमाए संग्गै बनी रैबे।
ई चिठिया के लिखबेवारे मुझ तिरतीयुस कौ पिरभु में तुम हां नमस्कार।
गयुस जौन मोरी और मण्डली की पहुनाई करबेवारो आय, ऊकौ तुम हां नमस्कार: इरास्तुस जौन नगर कौ भण्डारी आय, और भाई क्वारतुस कौ तुम हां नमस्कार।
मैं पौलुस कौ अपने हाथन से लिखो भओ नमस्कार: जदि कोई पिरभु से प्रेम न धरे ऊ पे तुरतईं विपदा पड़े।
पिरभू यीशु मसीह की दया और परमेसुर कौ प्रेम और पवित्रात्मा की संगत तुम सबरन के संग्गै होत रए।
मैं एैसई तुम सब के लाने सोचत आंव, कायसे तुम सबरे जनें मोरे हिये में बसे आव, और चाहे मैं इते जेहल में आंव और सुसमाचार हां प्रचारत आंव तुम सबरे जनें मोरे संग्गै ठांड़े आव।
और हमाए काजें सोई बिन्तवारी करो, कि परमेसुर हमाए लाने बचन सुनाबे हां ऐसो द्वार खोल देबे, कि हम पिरभू यीशु मसीह की कथा सुनात रएं, जीके काजें मैं जेहल में आंव।
मैं पौलुस अपने हाथ से नमस्कार लिख रओ आंव: हर एक चिठिया में जा मोरी चिन्हानी आय: मैं ऐसई लिखत आंव।
कितेक ई समज कौ अपना के, बिसवास से भटक गए आंय। तुम पर आसीस होत रैबे।
सो परमेसुर की गवाही से, और मोरे से जो उनके नाओं से जेहल में आंव, लजाईयो न, परन्त मोरे संग्गै सेवा में दुख उठाबे हां तईयार रै।
प्रभु तोरे आत्मा हां बल देबे: तुम पै किरपा बनी रैबे।
मोरे सबरे संग्गी भईयन हां तोहां नमस्कार पोंचे, और जौन हम में मिल गए आंय, उन हां सोई नमस्कार कईयो। तुम सबरन पै परमेसुर की किरपा बनी रैबे।
मोरी जा बिन्ती आय कि परमेसुर तुम सबन पै दया करे। आमीन।
जौन जेहल में आय, उनको ध्यान रखियो जौ मानके कि तुमई जेहल में आव; जीके संग्गै बुरओ होबे उनकी सोई चिन्ता करियो, जौ सोच के तुम उन के संग्गै आव।