15 और हम हद्द से बाहर दूसरन के कामन पै बड़वाई नईं करत; अकेले हम हां जौ पता आय, कि जैसे जैसे तुमाओ बिसवास बढ़ है तो हम सोई अपनी हद्द से तुमाए कारण और बढत जै हैं।
पर औरों में से कोऊहां जा हिम्मत न होत हती, कि उन में आ मिले; फिन भी मान्स उन की बड़वाई करत हते।
परन्त मोरे मन की जा आस आय, कि जिते जिते मसीह के नाओं कौ परचार नईं भओ, उतईं भलो सन्देसो परचार करों, ऐसो न होबै, दूसरे की नी पे मैं घर बनाओं।
हम हद्द से बढ़ के अपनी बड़वाई न कर हैं, केवल उतै लौ जिते लौ परमेसुर ने हमें कहो आय; ओई में तुम सोई आ गए आव सो ओई जैसी बड़बाई कर हैं।
भईया हरौ, तुमाए लाने हम हां परमेसुर को धन्न मानो चईये, और जौ सांचो आय कि तुमाओ पिरभू पै बिसवास बढ़त जात आय, और तुम एक दूजे से खीब प्रेम करत आव।