जब पौलुस और बरनाबास और उन में से कछु लोग हां ई बात पै बतकाव भओ, तब जा विचारो, कि पौलुस और बरनाबास और कछु लोग ई बारे में प्रेरितन और सियानन के ऐंगर यरूशलेम जाबें।
उन से धोका न खाईयो जौन ऐसे दिखात आंय कि बड़े कोंरे मन के आंय, जौन सरगदूतन की पूजा करत आंय परन्त तुम हां ऊ इनाम से जौन तुम हां मिलो चईये ऊ में बिलोरा डालत आंय। ऐसो मान्स बेसमझी की बातें करत आय और स्वारथी आय।
जौन बिरोध करत आंय, उन हां जौन परमेसुर के मानबेवारे आंय, और अपने आप हां बड़ो कैत आंय, इते लौ कि बो परमेसुर के मन्दर में बैठ के अपने आप हां परमेसुर कैत आय।
और उनके किस्सा कहानी पै और जौन मान्सन की पुस्तन को अन्त नईयां उन पै ध्यान न धरे, कायसे इनसे विवाद होत आंय; और ईको परमेसुर के तरन तारक से कछु मतलब नईंयां, जो बिसवास से सम्बन्ध रखत आंय।
परन्त जे मान्स बिना समजवारे जनावर घांई आंय, जौन पकड़े जाबे और नास होबे के लाने पैदा भए आंय; जिन बातन हां बे जानतई नईंयां, उन के लाने दूसरन हां बुरो भलो कैत आंय, बे अपनी सड़ाहट में खुद सड़ जें हैं।
इनहां कोऊ बात में संतोस नईंयां, जे कुड़कुड़ात, और अपनी बुरई मन्सा से काम करत आंय; और बिलात बड़वाई की बातें करत आंय; और फायदे के लाने मों पै मान्सन की बड़वाई करत आंय।
तें जो कैत आय, कि मैं बड़ो धनी आंव, और धनवालो हो गओ आंव, और मोहां कोनऊ बस्त की कमी नईंयां, और जौ नईं जानत, कि तें अभागा और तुच्छ और कंगाल और अन्धरा और नंगो आय।