जब हाकिम फेस्तसके माध्यमसे जा पक्का हुइगओ, कि पानीजहाजसे हमके इटालिया परदेशको रोम सहरमे जानपणैगो, तओ बे पावल और औ बहुत कैदीन्के महाराज अगस्टसको सेनाको युलियस नाउँको कप्तानके जिम्मामे लगाए दइ।
पर प्रभु चाहैगो तओ मए तुमर ठिन जल्दीए आमंगो, और सिर्फ जाके ताहीं इकल्लो नाए कि, बे घमण्डी आदमी कैसे बात कर रहे हएं, बल्कि उनको शक्तिके फिर जाननके ताहीं आमंगो।