जो दुख तेकै झेलने पड़ंगे, उनसै मत डर, कैसेकै देखौ, सैतान तुम्मै सै, कुछ कै जेलखाने मै डान्नै बारो है कै तुम परखे जाऔगे और तुमकै दस दिन तक सताओ जागो। तू मौत को सामनो करते बखत बी बिसवास मै ईमानदार रैह और मैं तेकै जिन्दगी को मुकट दंगो।
अब सुरग मै मेरे ताँई धारमिकता को मुकट तईयार करकै रखर खाओ है और परभु जो सच्चो नियाय कन्नै बारो है। मैंकै बा दिन देगो और मैंकैई ना पर उन सबई लोगौ कै बी देगो जो पियार के संग बाको फिर सै आनै को पैंड़ो देख रए हैं।
तब जे चौबीसौ बुजरग सिंगासन मै बैठनै बारे के सामने गिर पड़ै हैं और बाकी जो युगौं-युगौं तक जिन्दो है आराधना करैं हैं और बे अपने अपने मुकट सिंगासन के सामने जौ कैते भए डार देवै हैं,
खेल मै हिस्सा लैनै बारे खिलाड़ी अपने सरीर के ऊपर काबू करकै धियान सै खुद कै तईयार करै है। बौ बी ऐंसे ईनाम के ताँई जो जादा बखत के ताँई ना रैहबै है। पर हम ऐंसे ईनाम के ताँई करै हैं, जो हमेसा रैहबै है।
इसताँई याद कर, कै तैनै कैसी सिक्छा पाई ही और सुनी ही, और उनमै बनो रैह और मन फिरा। अगर तू जगो ना रैहगो तौ मैं चोर के हाँई आ जांगो और तू जान ना सकैगो कै मैं किस घड़ी तेरे धौंरे आ गओ।
“मैं जौ जानौ हौं कै तू बहाँ रैहबै है जहाँ सैतान को राज है। तू मेरे नाम मै खड़ो रैहबै है, और मेरे ऊपर बिसवास कन्नै सै उन दिनौ मै बी पीछे ना हटो जब मेरो ईमानदार गभा अन्तिपास, तुमरे बीच उस जघै मै मारो गओ जहाँ सैतान को अड्डा है।
“देखौ! मैं चोर के हाँई आ रओ हौं। धन्न है बौ, जो जगतो और अपने लत्तौ कै अपने संग रक्खै है, ताकि बौ नंगो ना फिरै और लोगौ के सामने उसकै सरमिन्दा ना होनो पड़ै।”