41 यि सुइनके येसुके दया लाग्लै आ ओकर उपर आपन हाथ राइखके कहल्कै, “हम चाहैचियौ, तु निक भ्याजो।”
लोकसबके भिर देखके ओकर हिरदय दयासे भैर गेलै। कथिलेकी चरबाहा बिनाके भेंरासब जखा निरास आ लाचार छेलै।
कथिलेत अपनासबके परधान पुजारी अपनासबके दुरबलतामे साथ नै दैबला पुजारी नै चियै। उ अपनेसब जखा सब बातमे परिक्छामे परलै महज तैयो पाप नै करल्कै।
ओहैसे सब बातमे उ आपन भाइ-भैयासब जखा बनैले आबस्यक छेलै। ताकि उ परमेस्वरके सेबामे दयालु आ बिस्बासयोग्य परधान पुजारी बन्लै आ लोकसबके पाप छमा दैकेलेल उ आपने बली भेलै।
जब येसु नाहसे उतरलै तब लोकसबके बरका भिर जम्मा भेल देखके ओकरा मनमे एकदम दया लाग्लै कथिलेत उसब चरवाह बिनाके भेंरासब जखा छेलै। तब येसु ओकरासबके बहुत बात सिखाबे लाग्लै।
परमेस्वरके महिमाके इजोत ओकरेमे चम्कैछै आ वह्या परमेस्वरके साँचो रुप चियै। ओकरे सक्तीसाली बचनसे अकास आ पिरथिबीमे भेल सब चिजके अराइनेछै। उ लोकसबके पाप सुध करलाके बाद स्वरगमे रहैबला महिमीत परमेस्वरके दहिनाकात बैठलछै।
तब ओइ छौरीके हाथ पकैरके कहल्कै, “तालिता कुमी” जकर अरथ चियै, “ए छौरी, हम तोरा कहैचियौ, उठ।”
तब येसु उठलै आ अन्हर बिहाइरके हकारल्कै आ झोहके कहल्कै, “रुइक जो! सान्त हो!” अन्हर बिहाइर रुक्लै तब सब सान्त भेलै।
एकटा कोढि-कुस्टी लागल लोक येसु लग एलै आ ठेङहुनिया दैत कहल्कै, “अहाँ चाहबै त हमरा कोढि-कुस्टीसे निक कैरसकैचियै।”
तखुन्ते कोढि-कुस्टी लागल लोक निक भ्यागेलै।