8 हबाके जने बहैले मन लागैछै तने बहैछै। हबाके अबाज त तुसब सुनैचिही, महज कतेसे आबैछै आ कते जाइछै से नै जानैचिही। ओहिनङ लोकसब आत्मासे कनङ जलम लैछै से बात तु नै जानैचिही।”
लोकके भितर भेल आपने आत्मा बाहेक के लोकके बिचारके बुझहैले सक्तै? तहिनङे परमेस्वरके बिचार परमेस्वरके आत्मा बाहेक कोइ नै बुझैछै।
तब अचानक स्वरगसे बरका बिहाइरके एकटा अबाज जखा एलै आ उसब बैठलहा पुरे घर गोङिया उठलै।
खिरिस्ट धरमी छै से तुसब जानैचिही। तहैलेल निसचिन्त रह कि धारमिकतामे चलैबला सब परमेस्वरसे जलमल रहैछै।
जब उसब परथना समापत करल्कै तब ओइठाम जते उसब जमा भेलरहै ओते सबकोइ थरकलै आ उ सबकोइ पबितर आत्मासे भरलै आ उसब साहसके साथ परमेस्वरके बचन परचार करे लाग्लै।
यि सब एके पबितर आत्माके काम चियै। उ आपन इक्छा अनुसार सब कोइके अलग-अलग किसिमके बरदान दैछै।
उसब नै त लहुसे, नै त सारिरीक इक्छासे, नै लोकके कोनो इक्छासे महज उसब परमेस्वरसे आत्मिक रुपमे जल्मैछै।
हम तोरासबके कहैचियौ नया कैरके जल्मे परतौ से बात सुइनके अजगुत नै मान।
तब निकोदेमस ओकरा कहल्कै, “यि सब कनङ भ्यासकैछै?”