2 बेबिचारमे फसैबला अबस्था अनेक भेलाके कारन सब पुरुख लोकके आपन-आपन घरबाली हेबे आ सब जनिके आपन-आपन घरबला हेबे।
तैहनङे घरोबलासब आपन-आपन घरबालीसबके आपने देह जखा परेम करे परैछै। आपन घरबालीके परेम करैबला आपनेके परेम करैछै।
चाहे जे हेबे, तुसब आपन-आपन घरबालीसबके आपने जखा परेम करे परतौ आ घरबालीयोसब आपन-आपन घरबलाके आदर करे परतौ।
महज उसब आपन मनके बसमे राखैले नै सकैछै त उसब बियाह करे। कथिलेत मनके बसमे नै राखैले सक्लासे त बरु बियाह करनाइ असल चियै।
बेबिचारसे अलगे रह। औरो पाप, लोक आपन देहसे बाहर करैछै, महज बेबिचार करैबला लोक आपने देहके बिरोधमे पाप करैछै।
उसब बियाह नै कर कैहके लोकसबके कहैछै आ बहुतो एहेन खाइबला चिजसब खाइले नै मिलैछै कैहके सिखाइछै। महज सत बात जानैबला बिस्बासी लोक धन्यबाद द्याके परमेस्वरके सिरिस्टी करल सब चिज खाइले सकैछै।
महज हम तोरासबके कहैचियौ, जे आपन घरबालीके बेबिचारके अलाबा छोरैछै, उ ओकरा बेबिचारिनी बनाइछै आ जे कोइ छोरल जनिसे बियाह करैछै, उ बेबिचार करैछै।
आब हम तोरासबके लिखल चिठीमे, “लोक बियाह नै करनाइ असल चियै” पुछलहा बातके बारेमे कहैचियौ।
घरबला आपन घरबालीके ओकर बैबाहिक हक देबे आ तहिनङे घरबालीयो आपन घरबलाके देबे।
पबितर आ आदरसाथ आपन घरबालीसङे जिबन बिताबे परैछै कैहके सबलोकके जाने परतै।