मरकुस 2:9 - Garhwali9 अर क्या बोन्नु जादा सौंगु च? इन बुलण कि, ‘तेरा पाप माफ ह्वे गैनी, या इन बोन्न कि, उठ, अर अपणा बिस्तर तैं उठौ अर हिटण लगि जा।’ Gade chapit laगढवली नयो नियम9 सरल क्य च? क्य लकवा का रोगी कु इन बुल्ण कि तेरु पाप माफ हवेनि या इन बुल्ण कि उठ अपड़ी खाट उठै के चलि? Gade chapit la |