11 तू ओ जाणले क, अंय्यां को मिनख भरस्ट होगो ह, अर बिका पाप बिनै गळत साबित करीं हीं।
ज सच को ज्ञान होबा क पाछै बी जाणबूजर आपा पाप करता रेह्वां जणा पाप ताँई कोई बलिदान आथई कोनी।
म्हारा काना म आ बात आई ह क म्हारै मऊँ क्युंक मिनख बठै थारै कनै आर थानै आपकी बाताऊँ घबरा दिआ अर भंगरा दिन्या। पण अंय्यां करबा ताँई म्हें तो बानै ओडायो कोनी जणाई तो
जत्ता बी बिपै बिस्वास करै ह, बानै परमेसर माफ करै ह। पण जखा बिपै बिस्वास कोनी करै बे सजा का भागी ह, क्युं क बे परमेसर का इकलोता बेटा प बिस्वास कोनी कर्या।
जणा बो मालिक बिऊँ बोल्यो, ‘तू बुरो दास ह! म तेरा कह्या गेलई तेरै सागै करस्युं। तू जाणता बुजता क म टेडो आदमी हूँ जखो म कोनी धरूँ बिनै लेल्युँ अर जखो कोनी बोऊँ बिनै काट ल्युं।
ओ जरूरी होगो ह क बाको मुंडो बंद कर्यो जाय। क्युं क बे पिसा कमाबा क चकरां म आपकी सीखऊँ घर-घरनै सई सीख प बिस्वास कोनी करबा दे।
मिनखानै अ बाता याद दिवातो रेह। अर बानै परमेसर क सामै चेतार बोल क बे बेकार की बाता प नइ लड़ीं। अंय्यां करबो चोखो कोनी क्युं क बे बाता बानै सुणबाळा ताँई बिनास की जड़ ह।
आपा जाणा हां क नेम-कायदा म मंडेड़ो बि ताँई ह जखो बिकै बस म ह। जिऊँ हरेक मुंडानै बंद कर्यो जा सकै अर सगळा को सगळो जगत परमेसर का दंड को भागी होवै।
जणा पोलुस अर बरनाबास हिमत कर बोल्या, “ओ जरूरी हो क परमेसर को बचन सऊँ पेली थानै सुणायो जावै पण थे इनै थारूँ दूर कर्या अर खुदनै अजर-अमर जीवन को भागी कोनी मान्या जणा इब म्हें गैर-यहूदिआ क कनै जावां हां।
पण फरिसी अर सास्तरानै सीखाबाळा, यहून्नाऊँ पाणी को बतिस्मो नइ लेर परमेसर बा ताँई जोक्यु ध्यार राखी ही बिनै टाळ दिआ।
बो बाकै हात कागद भेज्यो जिमै अंय्यां मंडर्यो हो क,
अर यहूदि मिनखा की मनघड़ी क्हाण्या प अर बा मिनखा का आदेसा प ध्यान मना द्यो जखा सचाईनै कोनी मानै।