24 जंय्यां क पबितर सास्तर म मंडेड़ो ह क, “थारी बजेऊँ परमेसरनै नइ ध्यारबाळा मिनखा म परमेसर की बुराई होवै ह।”
अर बोळा मिनख बाका कूगेला प चालसी अर बाका करमाऊँ सचाई का गेला की बदनामी होसी।
बोई बोल जिपै कोई आँगळी नइ उठा सकै, जिऊँ तेरा बेरी सरमिंदा होवीं अर बाकन आपानै बुरो बताबा की कोई बजै नइ होवै।
ज तू दास ह, तो तनै तेरा मालिक की ईज्जत अर बिको आदर करबो चाए। जिऊँ कोईबी परमेसर का नाम अर आपणी सीख क बारां म बुरो नइ बोल सकै।
हाय ह जगत का मिनखा प जखा मेर प बिस्वास करबाळा ताँई आखळी बणै ह। आतो हो कोनी सकै क मेर प बिस्वास करबाळा मिनखानै बिस्वास म कमजोर करबाळा मिनख नइ मिलै। पण अंय्यां करबाळा प हाय पड़सी।
जणा म चाऊँ हूँ क, जवान खालीहोइड़ी लूगाई ब्या कर टाबर जलमै, अर आपका घर की देखभाळ करै, जिऊँ बे आपणी बुरी चितबाळानै आपणै खिलाप बुरो खेबा को मोको नइ दिं।