32 ओ बा गैर-यहूदि मिनखा ताँई थारो गेलो दिखाबाळो उजाळो अर थारा इजरायल का मिनखा ताँई मेमा ह।”
की मसी बोळा दुख भोगसी, मरसी अर बोई सऊँ पेली मरेड़ा म जिंदो होसी जिऊँ यहूदि अर गैर-यहूदि मिनखा म च्यानणा को हेलो पाड़ै।”
नगरीनै सूरज अर चाँद की जुर्त कोनी ही क्युं क बा परमेसर की मेमा का च्यानणाऊँ चमकरी ही अर उन्यो नगरी को दिओ हो।
थानै ओ जाणबो चाए की परमेसर को छुटकारो गैर-यहूदि मिनखा क कनै भेज्यो गयो ह। बे इ छुटकारा का समचारनै सुणसी।”
जखा अँधेरा म बेठ्या हा, बे च्यानणो देख्या; अर जखा मोत का काळ म हा बाकै उपर बी च्यानणो चमक्यो।”
जंय्यां की पबितर सास्तर म मंडेड़ो ह: “ज कोई मिनख गुमान करबो चावै बो परबु क बारां म गुमान करै।”
जणा बो ईस्बर नगरी दुत बाऊँ बोल्यो, “डरो मना म थानै चोखो समचार सुणाऊँ हूँ, जखो सगळा मिनखा ताँई होसी।
जिनै थे सगळा मिनखा की आँख्या क सामै रच्यो ह।