5 अर जद ईसु नजर घूमार बि घणीसारी भीड़नै आपकै कनै आती देख्यो। जणा फलिपूसऊँ बोल्यो, “आपा आ ताँई रोटी कठैऊँ मोल ल्यावां?”
चेला बोल्या, “इ उजाड़ म अत्ता मिनखा को पेट भरबा ताँई रोटी कठैऊँ आसी?”
के थे कोनी बोलो, ‘इब लावणी का च्यार म्हेनाई रेह्गा ?’ म थारूँ बोलुँ हूँ, खेता कानि देखो बे लावण्या आगा हीं।
आगलै दिन ईसु गलिल जाबा की मन म करी। फलिपूसनै देखर बो बिऊँ बोल्यो, “मेरै गेल होले।”
बे न्याव म चढर उजाड़ म चलेग्या।
जणा पाछै ईसु कनै आर बे भेजेड़ा चेला जोक्यु बे कर्या बिकी जाणकारी बिनै दि। जणा बो बानै आपकै सागै लिओ अर बे चुपचाला बेतसदा नाम की नगरी म गया।
फलिपूस, अंदरिआस अर पतरस की नगरी बेतसदा को रेह्बाळो हो।
फलिपूस नतनएलऊँ मिलर बिऊँ बोल्यो, “म्हानै बो मिलगो ह, जिकै बारां म मूसा नेम-कायदा म मांड्यो अर जिकै बारां म परमेसर की खेबाळा बताया हीं। बो युसूफ को बेटो नासरत को रेह्बाळो ईसु ह।”
नतनएल बुज्यो, “नासरत! नासरतऊँ कोई चोखी चिज निकळ सकै ह के?” फलिपूस बोल्यो, “आर खुदई देखले।”
नतनएल ईसुऊँ बुज्यो, “थे मनै कंय्यां जाणो हो?” ईसु बिऊँ बोल्यो, “फलिपूसनै बुलाबाऊँ पेली, म तनै अंजीर का दरखत क तळै देख्यो हो।”