9 आपा जीबऊँई परबु अर परम-पिता की जे-जैकार करां हां अर इऊँई परमेसर का रूप म बणाएड़ा मिनखनै सराप देवां हां।
इ ताँई मेरो जीवड़ो राजी ह। अर मेरी जबान राजी-खुसी की बात करसी। अर म आस म जिस्युं।
पण मोट्यारनै सीर नइ ढकणो चाए क्युं क बो परमेसर क रूप म परमेसर की मेमा ताँई बणायो गयो ह। पण एक लूगाई आपका मोट्यार की मेमा करै ह।
“बाका मुंडा सराप अर कड़वाटऊँ भर्या पड़्या हीं।”
जणा पतरस सोगन खार बोल्यो, “म बि मिनखनै कोनी जाणू ज म बिनै जाणू तो परमेसर मनै सजा देवै।” अत्ता मई मुरगो बांग दिनी।
पण म थानै खेऊँ हूँ क थे थारा दुस्मनाऊँ परेम करज्यो। अर जखो थानै सतावै, बा ताँई बी अरदास करज्यो।
परमेसर अर आपणा परबु ईसु मसी का परम-पिता की जे हो, जखो इ सरस्टिनै रचबा क पेल्याई आपा बिस्वास्यानै मसी म टाळ लिओ। बो आपानै टाळ्यो जिऊँ आपा बिकी नजर्या म पबितर अर निरदोस होवां। जणाई बो ईसु मसी म आपानै ईस्बर नगरी म सगळा भात का आत्मिक आसिरबाद दिआ हीं। अर परमेसर खुदका परेम की बजेऊँ
परमेसर अर आपणा परबु ईसु मसी का परम-पिता की जे हो। क्युं क परमेसर आपणा प बडी दया दिखाई जणाई बो मसीनै मरेड़ा मऊँ जीवार आपानै नया जीवन की आस ताँई ओज्यु जीवायो ह।
पण परमेसर अर परम-पिता की नजर्या म खरी अर पबितर भगती तो आ ह क अनाथ अर खाली होईड़ीनै बाकै दुख दरद म समाळै अर खुदनै इ दुनियादारीऊँ बेदाग राख।
आपा एकई मुंडाऊँ परमेसर की जे-जैकार करां हां अर बि मुंडाऊँई मिनखानै सराप बी देवां हां। मेरा लाडला बिस्वास्यो, अंय्यां नइ होणो चाए।