4 जखा बी नेम-कायदानै मानबा की बजेऊँ परमेसरनै राजी करबो चावीं, बिको मतबल ह क बे मसीऊँ न्यारा होगा हीं अर परमेसर की दयाऊँ दूर हीं।
ज ओ परमेसर की दया को नतिजो ह, जणा ओ मिनखा का करमा को नतिजो कोनी ह। नहिस तो दया को काँई मतबल।
थे ध्यानऊँ रेहज्यो कदै अंय्यां नइ होज्या क थारै मऊँ कोई परमेसर की दयाऊँ चूक ज्यावै। अर ध्यान राखज्यो क थारै मऊँ कोई खारी जड़ नइ निकळै जखी कयानै असुद अर दुख देबा की बजे बाजै।
म परमेसर की दयानै बेकार कोनी जाबा द्युँ, क्युं क ज नेम-कायदा की बजेऊँ धारमिक्ता मिलती, जणा मसी को मरबो बेकारई ह।
नेम-कायदा का काम करबाऊँ कोईबी मिनख परमेसर क सामै धरमी कोनी हो सकै। क्युं क नेम-कायदाऊँ तो पाप की पिछाण होवै।
इ ताँई चेता म आ अर आ सोच क तू कठैऊँ गिर्यो, तू तौबा कर अर पेल्या की जंय्यां काम कर, अर ज तू अंय्यां कोनी करसी जणा म तेरै कनै आर तेरा दिपदानानै बि झघाऊँ हटा देस्युँ।
सुणो म खुद पोलुस थानै खेऊँ हूँ क, ज थे परमेसर क सामै धरमी होबा ताँई सुन्नत करास्यो, जणा इको मतबल ह क मसी को थारै बेली कोई मोल कोनी।
जदकी बिकी अराम हाळी झघा म जाबा को बादो हाल बी ह, जणा आपानै चेता म रेह्बो चाए क्युं क कदै अंय्यां नइ होवै क थारै मऊँ कोईसो बी बठै जाबाऊँ चूक ज्यावै।