21 नेम-कायदानै मानबाळो, थे मनै बताओ, के थे नेम-कायदा की इ बातनै कोनी सुण्या?
जखो बी नेम-कायदानै मानबा की बजेऊँ परमेसरनै राजी करबो चावै ह, बो सराप क बस म ह, क्युं क नेम-कायदा म मांडेड़ो ह क, “जखो बी नेम-कायदा म मांडेड़ी सगळी बातानै नित-नित कोनी मानै बो सरापित ह।”
आपा जाणा हां क नेम-कायदा म मंडेड़ो बि ताँई ह जखो बिकै बस म ह। जिऊँ हरेक मुंडानै बंद कर्यो जा सकै अर सगळा को सगळो जगत परमेसर का दंड को भागी होवै।
पण इब थे परमेसरनै पिछाण लिआ हो अर परमेसर थानै पिछाणै ह। जणा इब थे जगत की बाता कानि जामै दमहाळी बात कोनी अर जखी बेफालतू की ह, ओज्यु बाका गुलाम क्यु होबा जार्या हो?
थार प पाप को राज कोनी हो सकै क्युं क थे नेम-कायदा क साराऊँ कोनी जीओ पण परमेसर की दया क साराऊँ जीओ हो।
अ बाता इ ताँई घटी क्युं क पबितर सास्तर म मंडेड़ी बाता पूरी हो क, ‘बे बेकामई मेरूँ बेर राख्यो।’
भीड़ बोली, “म्हारो पबितर सास्तर बतावै ह क, मसी सदाई जिंदो रेह्सी। जणा थे कंय्यां बोल सको हो क मिनख को बेटो उचो उठायो जासी ? ओ कूणसो मिनख को बेटो ह?”
ईसु बोल्यो, “ओ थारा पबितर सास्तर म मंडर्यो ह जंय्यां परमेसर बोलै ह, ‘थे परमेसर जंय्यां का हो।’
अब्राहम बिऊँ बोल्यो, ‘बानै मूसा अर दुसरा परमेसर की खेबाळा की पोथ्या की बातानै सुणबो अर मानबो चाए।’
ईसु बाऊँ बोल्यो, “मूसा थानै काँई हुकम दिओ ह?”