जे परमेश्वरके छावकमे विश्वास करत, उहिहे सदाकालके जीवन मिलगिल बतिस। पर जे परमेश्वरके छावक कलक नै मानत, उहिहे सदाकालके जीवन नै मिल्हिस, पर परमेश्वरके दण्ड ओकरमे पलिरही।”
जे परमेश्वरके छावकमे विश्वास करी, उहिहे दण्डक आज्ञा नै हुई। पर जे हुँकारमे विश्वास नै करी, ऊ आग्गिहीँ दोषी ठहरागिल बा। काकरेकी ऊ परमेश्वरके एक्केथो छावक नाउँमे विश्वास नै करल हो।
जे केऊ फेन मोरिकमे विश्वास करी, चिन्हक रुपमे उहिहे डुब्कि देऊ कि ऊ आब मोरिकमे विश्वास करत। और परमेश्वर उहिहे ओकर पापके सजाय मिल्नासे बँचैहीँ। पर जे मोरिकमे विश्वास नै करी, ओकर पापके सजाय परमेश्वर उहिहे दिहीँ।
जे परमेश्वरके छावकमे विश्वास करत, ऊ अपन मनमे यी गवाही धारत। और जे परमेश्वरकेमे विश्वास नै करल, परमेश्वरहे ऊ झूँटा ठहराइल। काकरेकी ऊ उ गवाहीमे विश्वास नै करल, जोन गवाही परमेश्वर अपन छावक बारेमे देले बताँ।
और यदि यहूदिनके फेनदोस्रे विश्वास करना सुरु करदिहीँ कलेसे ओइने फेनदोस्रे रुख्वामे कल्मी बहानजिहीँ। काकरेकी परमेश्वर ओइन्हे फेनदोस्रे कल्मी बाँधे सेक्थाँ।