निर्गमन 16:3 - सरल हिन्दी बाइबल3 इस्राएली कहने लगे, “अच्छा होता कि याहवेह ने हम लोगों को मिस्र में ही मार डाला होता, वहां हम मांस की हांडियों के पास बैठते थे और पेट भरकर रोटी खाते थे; आप तो हमें इस निर्जन देश में इसलिये ले आए हैं कि हम सारे लोग भूख से मर जाएं.” अध्याय देखेंपवित्र बाइबल3 लोगों ने मूसा और हारुन से कहा, “यह हमारे लिए अच्छा होता कि यहोवा ने हम लोगों को मिस्र में मार डाला होता। मिस्र में हम लोगों के पास खाने को बहुत था। हम लोगों के पास वह सारा भोजन था जिसकी हमें आवश्यकता थी। किन्तु अब तुम हमें मरुभूमि में ले आये हो। हम सभी यहाँ भूख से मर जाएंगे।” अध्याय देखेंHindi Holy Bible3 और इस्राएली उन से कहने लगे, कि जब हम मिस्र देश में मांस की हांडियों के पास बैठकर मनमाना भोजन खाते थे, तब यदि हम यहोवा के हाथ से मार डाले भी जाते तो उत्तम वही था; पर तुम हम को इस जंगल में इसलिये निकाल ले आए हो कि इस सारे समाज को भूखों मार डालो। अध्याय देखेंपवित्र बाइबिल CL Bible (BSI)3 इस्राएलियों ने उनसे कहा, ‘जब हम मिस्र देश में मांस की देगची के निकट बैठकर भरपेट भोजन करते थे, तब अच्छा होता कि हम प्रभु के हाथ मर गए होते; क्योंकि आप लोग इस निर्जन प्रदेश में समस्त जन-समुदाय को भूख से मार डालने के लिए मिस्र देश से हमें निकालकर लाए हैं।’ अध्याय देखेंपवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI)3 इस्राएली उनसे कहने लगे, “जब हम मिस्र देश में मांस की हांडियों के पास बैठकर मनमाना भोजन करते थे, तब यदि हम यहोवा के हाथ से मार डाले भी जाते तो उत्तम वही था; पर तुम हम को इस जंगल में इसलिये निकाल ले आए हो कि इस सारे समाज को भूखों मार डालो।” अध्याय देखेंनवीन हिंदी बाइबल3 इस्राएलियों ने उनसे कहा, “भला होता हम यहोवा के हाथ से मिस्र देश में ही मार डाले जाते जब हम मांस की हाँड़ियों के पास बैठकर भरपेट भोजन करते थे, पर तुम हमें इस जंगल में इसलिए निकाल ले आए हो कि इस सारी मंडली को भूखा मार डालो।” अध्याय देखें |
हम तो निश्चयतः वही सब करेंगे, जो हमारे मुख से मुखरित हुआ है: हम स्वर्ग की रानी के निमित्त धूप जलाएंगे, उसे पेय बलि अर्पित करेंगे; ठीक जैसा हमारे पूर्वज, हमारे राजा और हमारे उच्चाधिकारी यहूदिया के नगरों में तथा येरूशलेम की गलियों में करते रहे हैं. क्योंकि उस समय हमें भोजन का कोई अभाव न था, हम सम्पन्न थे तथा हमें किसी प्रतिकूलता का अनुभव न हुआ.
याहवेह, तुम्हारे परमेश्वर ने तुम्हें नम्र बना दिया, उन्होंने तुम्हें भूखा ही रहने दिया और तुम्हें खाने के लिए मन्ना प्रदान किया जो तुम्हारे लिए एकदम नई वस्तु थी, तुम्हारे लिए और तुम्हारे पूर्वजों के लिए भी. इसका उद्देश्य यह था कि तुम यह पहचान लो कि मनुष्य का जीवन सिर्फ भोजन पर नहीं, बल्कि याहवेह के मुख से निकले हुए हर एक शब्द पर भी निर्भर है.