यहोशू 7:25 - पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI)
25 तब यहोशू ने उससे कहा, “तू ने हमें क्यों कष्ट दिया है? आज के दिन यहोवा तुझी को कष्ट देगा।” तब सब इस्राएलियों ने उस पर पथराव किया; और उनको आग में डालकर जलाया, और उनके ऊपर पत्थर डाल दिए।
25 तब यहोशू ने कहा, “तुमने हमारे लिये ये सब मुसीबतें क्यों कीं? अब यहोवा तुम पर मुसीबत लाएगा!” तब सभी लोगों ने आकान और उसके परिवार पर तब तक पत्थर फेंके जब तक वे मर नहीं गए। उन्होंने उसके परिवार को भी मार डाला। तब लोगों ने उन्हें और उसकी सभी वस्तुओं को जला दिया।
25 तब यहोशू ने उस से कहा, तू ने हमें क्यों कष्ट दिया है? आज के दिन यहोवा तुझी को कष्ट देगा। तब सब इस्राएलियों ने उसको पत्थरवाह किया; और उन को आग में डालकर जलाया, और उनके ऊपर पत्थर डाल दिए।
25 यहोशुअ ने आकन से कहा, ‘तूने हमें संकट में क्यों डाला था? आज प्रभु भी तुझे संकट में डालेगा।’ तब सब इस्राएलियों ने उसे पत्थरों से मार डाला। उन्होंने उसके परिवार के सदस्यों को पत्थरों से मार डाला और उसकी सम्पत्ति में आग लगा दी।
25 और उससे यहोशू ने कहा, “तुम हम पर यह संकट क्यों ले आए? आज याहवेह तुम्हें संकट में डाल रहे हैं.” और समस्त इस्राएल ने उनका पत्थराव किया, और उन्हें आग में डाल दिया.
25 तब यहोशू ने उससे कहा, “तूने हमें क्यों कष्ट दिया है? आज के दिन यहोवा तुझी को कष्ट देगा।” तब सब इस्राएलियों ने उस पर पथराव किया; और उनको आग में डालकर जलाया, और उनके ऊपर पत्थर डाल दिए।
तब याक़ूब ने शिमोन और लेवी से कहा, “तुम ने जो इस देश के निवासी कनानियों और परिज्जियों के मन में मेरे प्रति घृणा उत्पन्न कराई है, इस से तुम ने मुझे संकट में डाला है, क्योंकि मेरे साथ तो थोड़े ही लोग हैं; इसलिये अब वे इकट्ठे होकर मुझ पर चढ़ेंगे, और मुझे मार डालेंगे, तो मैं अपने घराने समेत नष्ट हो जाऊँगा।”
लगभग तीन महीने के बाद यहूदा को यह समाचार मिला, “तेरी बहू तामार ने व्यभिचार किया है; वरन् वह व्यभिचार से गर्भवती भी हो गई है।” तब यहूदा ने कहा, “उसको बाहर ले आओ कि वह जलाई जाए।”
यदि कोई अपनी पत्नी और अपनी सास दोनों को रखे, तो यह महापाप है; इसलिये वह पुरुष और वे स्त्रियाँ तीनों के तीनों आग में जलाए जाएँ, जिससे तुम्हारे बीच महापाप न हो।
“इस्राएलियों से कह कि इस्राएलियों में से या इस्राएलियों के बीच रहनेवाले परदेशियों में से, कोई क्यों न हो जो अपनी कोई सन्तान मोलेक को बलिदान करे, वह निश्चय मार डाला जाए; और जनता उस पर पथराव करे।
“तुम लोग उस शाप देने वाले को छावनी से बाहर ले जाओ; और जितनों ने वह निन्दा सुनी हो वे सब अपने अपने हाथ उसके सिर पर टेकें, तब सारी मण्डली के लोग उस पर पथराव करें।
उस पर ऐसा पथराव करना कि वह मर जाए, क्योंकि उसने तुझको तेरे उस परमेश्वर यहोवा से जो तुझ को दासत्व के घर अर्थात् मिस्र देश से निकाल लाया है, बहकाने का यत्न किया है।
और तुम अर्पण की हुई वस्तुओं से सावधानी से अपने आप को अलग रखो, ऐसा न हो कि अर्पण की वस्तु ठहराकर बाद में उसी अर्पण की वस्तु में से कुछ ले लो, और इस प्रकार इस्राएली छावनी को भ्रष्ट करके उसे कष्ट में डाल दो।
तब जो पुरुष अर्पण की वस्तु रखे हुए पकड़ा जाएगा, वह और जो कुछ उसका हो सब आग में डालकर जला दिया जाए; क्योंकि उसने यहोवा की वाचा को तोड़ा है, और इस्राएल में अनुचित कर्म किया है।’ ”