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यिर्मयाह 30:7 - पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI)

7 उफ! वह महा संकट का दिन है। उस के तुल्‍य और कोई दिन नहीं है। वह याकूब के लिए दु:ख का दिन है। फिर भी याकूब उससे बच जाएगा।

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पवित्र बाइबल

7 “यह याकूब के लिये अत्यन्त महत्वपूर्ण समय है। यह बड़ी विपत्ति का समय है। इस प्रकार का समय फिर कभी नहीं आएगा। किन्तु याकूब बच जायेगा।”

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Hindi Holy Bible

7 हाय, हाय, वह दिन क्या ही भारी होगा! उसके समान और कोई दिन नहीं; वह याकूब के संकट का समय होगा; परन्तु वह उस से भी छुड़ाया जाएगा।

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पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI)

7 हाय, हाय, वह दिन क्या ही भारी होगा! उसके समान और कोई दिन नहीं; वह याकूब के संकट का समय होगा; परन्तु वह उस से भी छुड़ाया जाएगा।

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सरल हिन्दी बाइबल

7 हाय! क्योंकि भयंकर होगा वह दिन! ऐसा कभी देखा ही नहीं गया. यह याकोब की वेदना का समय होगा, किंतु याकोब इसमें से पार निकल जाएगा.

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इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019

7 हाय, हाय, वह दिन क्या ही भारी होगा! उसके समान और कोई दिन नहीं; वह याकूब के संकट का समय होगा; परन्तु वह उससे भी छुड़ाया जाएगा।

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यिर्मयाह 30:7
37 क्रॉस रेफरेंस  

याकूब बहुत डर गया। वह संकट में पड़ गया। उसने अपने साथ के लोगों को, भेड़-बकरियों को, गाय-बैलों और ऊंटों को विभक्‍त कर दो दल बनाए।


हे परमेश्‍वर, इस्राएल को उसके समस्‍त संकटों से मुक्‍त कर।


धार्मिक मनुष्‍य के दु:ख अनेक हैं; तोभी प्रभु उन सब से उसे मुक्‍त करता है।


उस दिन वे यह कहेंगे, “ये ही थे हमारी आशा के केन्‍द्र। असीरिया के राजा से बचने के लिए हमने इनकी ही शरण ली थी! जब इनका यह हाल है, तब हम कैसे बचेंगे?”


प्रभु, तू इस्राएल की आशा है। संकट-काल में तू ही बचानेवाला है। तब तू क्‍यों हम से परदेशियों की तरह व्‍यवहार कर रहा है? तू ऐसा व्‍यवहार कर रहा है मानो तू राह से गुजरता हुआ पथिक है जो एक रात का मेहमान होता है।


वे काठ स्‍तम्‍भ से कहते हैं, “तू हमारा पिता है।” वे पत्‍थर से कहते हैं, “तूने ही हमें जन्‍म दिया है।” उन्‍होंने मेरी ओर अपना मुंह नहीं वरन् अपनी पीठ फेरी है। जब उन पर संकट के बादल मंडराते हैं, तब मुझसे कहते हैं, “उठ और हमें बचा।”


ओ इस्राएल, तेरे देवता कहां गए, जिनकी मूर्तियां तूने अपने हाथ से गढ़ी थीं? वे तेरे इस संकट-काल में उठें, और तुझ को बचाएं! ओ यहूदा प्रदेश, जितने तेरे नगर हैं, उतने ही तेरे देवता हैं!


‘इसलिए, ओ याकूब, मेरे सेवक, मत डर। ओ इस्राएल, भयभीत मत हो। मैं-प्रभु कहता हूँ; मैं तुझको और तेरी संतान को, दूर देश से, जहां तू गुलाम है, उस देश से बचा कर लाऊंगा। तब याकूब लौटेगा, और सुख-चैन का जीवन बिताएगा; उस का कोई भी शत्रु उस को डरा नहीं सकेगा।


‘ओ सब राहगीरो! तुम पर यह मुसीबत न आए! मुझे देखो, मुझ पर ध्‍यान दो। जो दु:ख मुझे दिया गया है क्‍या उस दु:ख के तुल्‍य अन्‍य दु:ख हो सकता है? प्रभु ने अपने क्रोध-दिवस पर यह दु:ख मुझे दिया है।


ओ यरूशलेम की पुत्री! मैं तेरे विषय में क्‍या कहूं? मैं तेरी तुलना किससे करूं? ओ सियोन की कुंआरी कन्‍या, तुझे धैर्य बंधाने के लिए मैं तेरी समता किससे करूं? तेरा दु:ख सागर के सदृश अपार है; कौन तुझे तेरे दु:ख से उबार सकता है?


मेरे लोगों की नगरी यरूशलेम के अधर्म का दण्‍ड सदोम नगर के पाप के दण्‍ड से अधिक कठोर है, जो नगर बिना किसी के हाथ लगाए ही क्षण भर में उलट-पुलट गया था।


“उस समय महा स्‍वर्गदूत मीखाएल, जो तेरी कौम का रक्षक-दूत है, रक्षा के लिए आएगा। वह संकट का समय होगा। राष्‍ट्र की उत्‍पत्ति से लेकर अब तक ऐसा संकट कभी नहीं हुआ। परन्‍तु इसी संकट-काल में तेरी कौम का उद्धार भी किया जाएगा। जिन लोगों के नाम ग्रन्‍थ में लिखे हुए हैं, वे मुक्‍त किए जाएंगे।


हे परमेश्‍वर, जो वचन तूने हमारे प्रति और हम पर शासन करने वाले प्रशासकों के प्रति कहे थे, उनको तूने पूरा किया। तूने हम पर महा विपत्ति ढाही। वस्‍तुत: जैसी विपत्ति यरूशलेम पर ढाही गई वैसी समस्‍त आकाश के नीचे धरती पर और कहीं नहीं पड़ी।


यहूदा प्रदेश के निवासी, और इस्राएल प्रदेश के निवासी परस्‍पर संगठित होंगे; वे अपने लिए एक नेता को नियुक्‍त करेंगे; तत्‍पश्‍चात् वे इस देश में ऊंचे उठते जाएंगे। यिज्रएल का वह दिन, महा दिवस होगा।


हाय! हाय! विशेष दिन, प्रभु का दिन समीप आ गया। सर्वशक्‍तिमान परमेश्‍वर की ओर से मानो महाविनाश का दिन आ गया।


‘ओ वृद्धो, सुनो! ओ देशवासियो, तुम सब ध्‍यान से सुनो! क्‍या तुम्‍हारे जीवन-काल में अथवा तुम्‍हारे पूर्वजों के जीवन-काल में ऐसी विपत्ति कभी आयी थी?


प्रभु अपनी सेना के सम्‍मुख गरजता है। उसकी सेना महाविशाल है। प्रभु के आदेश का पालन करनेवाली सेना शक्‍तिशाली है। प्रभु का दिन महान और अति आतंकमय है। उसको कौन सह सकता है?


मुझ-प्रभु के महान और आतंकपूर्ण दिन के आने के पूर्व सूर्य अंधकार में बदल जाएगा, और चन्‍द्रमा रक्‍त में।


ओ यरूशलेम नगरी! तू गला फाड़कर चिल्‍लाती क्‍यों है? क्‍या तेरे यहाँ कोई राजा नहीं है? क्‍या तेरे सलाहकार मर गए जिसके कारण तू गर्भवती स्‍त्री के समान प्रसव-पीड़ा से तड़प रही है?


यह मैंने सुना, और मेरा शरीर कांपने लगा। आवाज सुनते ही मेरे ओंठ कांपने लगे। सड़ायंध मेरी हड्डियों तक घुस गई। मेरे पैरों तले की जमीन खिसक गई। मैं चुपचाप उस दिन की प्रतीक्षा करूंगा, जब हमारे आक्रमणकारियों पर संकट आएगा।


उस दिन का अन्‍त नहीं होगा: न दिन बीतेगा और न रात आएगी, संध्‍या के समय भी प्रकाश रहेगा। यह प्रभु का दिन कहा जाता है।


देखो, वह दिन आ रहा है, जो धधकते तन्‍दूर के समान है। उस दिन सब अभिमानी और दुष्‍कर्मी भूसे के सदृश भस्‍म हो जाएंगे। स्‍वर्गिक सेनाओं का प्रभु यह कहता है: ‘आनेवाला दिन उन्‍हें जलाकर राख कर देगा, वे जड़-मूल से नष्‍ट हो जाएंगे।


क्‍योंकि उन दिनों ऐसा दु:ख-कष्‍ट होगा, जैसा परमेश्‍वर-रचित सृष्‍टि के प्रारम्‍भ से अब तक न कभी हुआ है और न कभी होगा।


प्रभु के महान् तथा प्रकाशमान दिन के आगमन से पहले सूर्य अन्‍धकारमय हो जायेगा और चन्‍द्रमा रक्‍तमय।


ऐसा हो जाने पर सम्‍पूर्ण इस्राएल को मुक्‍ति प्राप्‍त होगी। जैसा कि धर्मग्रन्‍थ में लिखा है, “सियोन में मुक्‍तिदाता का आगमन होगा और वह याकूब से अधर्म को दूर कर देगा।


क्‍योंकि उन दोनों के क्रोध का महादिवस आ गया है। अब कौन टिक सकेगा?


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