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प्रेरितों के काम 7:25 - पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI)

25 मूसा का विचार यह था कि मेरे भाई समझ जायेंगे कि परमेश्‍वर मेरे द्वारा उनका उद्धार करेगा; किन्‍तु उन्‍होंने ऐसा नहीं समझा।

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पवित्र बाइबल

25 उसने सोचा था कि उसके अपने भाई बंधु जान जायेंगे कि उन्हें छुटकारा दिलाने के लिए परमेश्वर उसका उपयोग कर रहा है। किन्तु वे इसे नहीं समझ पाये।

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Hindi Holy Bible

25 उस ने सोचा, कि मेरे भाई समझेंगे कि परमेश्वर मेरे हाथों से उन का उद्धार करेगा, परन्तु उन्होंने न समझा।

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पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI)

25 उसने सोचा कि उसके भाई समझेंगे कि परमेश्‍वर उसके हाथों से उनका उद्धार करेगा, परन्तु उन्होंने न समझा।

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नवीन हिंदी बाइबल

25 उसने सोचा कि अब उसके भाई समझ जाएँगे कि परमेश्‍वर उनका छुटकारा उसके हाथों से करेगा, परंतु उन्होंने न समझा।

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सरल हिन्दी बाइबल

25 उनका विचार यह था कि उनके इस काम के द्वारा इस्राएली यह समझ जाएंगे कि परमेश्वर स्वयं उन्हीं के द्वारा इस्राएलियों को मुक्त करा रहे हैं किंतु ऐसा हुआ नहीं.

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प्रेरितों के काम 7:25
20 क्रॉस रेफरेंस  

नामान सीरिया देश के राजा का सेनापति था। वह अपने स्‍वामी की दृष्‍टि में महान् पुरुष था। उस पर राजा की विशेष कृपा थी; क्‍योंकि प्रभु ने उसके माध्‍यम से सीरिया देश को विजय प्रदान की थी। नामान महाबली था; किन्‍तु वह कुष्‍ठ-रोगी था।


जब हमारे पूर्वज मिस्र देश में थे, उन्‍होंने तेरे आश्‍चर्यपूर्ण कर्मों को नहीं समझा, उन्‍होंने तेरी अपार करुणा को स्‍मरण नहीं किया, वरन् सागर पर, लाल सागर पर विद्रोह किया।


मूसा ने इधर-उधर दृष्‍टि दौड़ायी। जब कोई मनुष्‍य दिखाई नहीं दिया तब उन्‍होंने मिस्र-निवासी की हत्‍या कर दी और उसका शव रेत में छिपा दिया।


किन्‍तु शिष्‍य येशु की यह बात नहीं समझ सके और वे येशु से प्रश्‍न पूछने से डरते थे।


उन्‍हें ये बातें समझ में नहीं आईं। इन शब्‍दों का अर्थ उन से छिपा ही रहा और वे इनका तात्‍पर्य नहीं समझ सके।


परन्‍तु यह बात उनकी समझ में नहीं आई। इसका अर्थ उन से छिपा रह गया कि कहीं वे समझ न लें। वे इसके विषय में येशु से पूछने से डरते थे।


वहाँ पहुँच कर उन्‍होंने कलीसिया की सभा बुलायी और बताया कि परमेश्‍वर ने उनके द्वारा क्‍या-क्‍या किया और कैसे गैर-यहूदियों के लिए विश्‍वास का द्वार खोला।


जब वे यरूशलेम पहुँचे, तो कलीसिया ने, प्रेरितों ने तथा धर्मवृद्धों ने भी उनका स्‍वागत किया। पौलुस और बरनबास ने बताया कि परमेश्‍वर ने उनके द्वारा क्‍या-क्‍या कार्य किये।


जब बहुत वाद-विवाद हो चुका तब पतरस ने उठ कर यह कहा : “भाइयो! आप जानते हैं कि परमेश्‍वर ने प्रारम्‍भ से आप लोगों में से ही यह चयन किया था कि गैर-यहूदी मेरे मुख से शुभ-समाचार का वचन सुनें और विश्‍वास करें।


पौलुस ने उनका अभिवादन किया और परमेश्‍वर ने उनके सेवा-कार्य द्वारा गैर-यहूदियों के बीच जो कुछ किया था, सब एक-एक करके उन्‍हें बताया।


उन में से एक के साथ दुर्व्यवहार होते देख कर, मूसा ने उसका पक्ष लिया और मिस्री को मार कर अत्‍याचार का बदला चुकाया।


दूसरे दिन मूसा ने दो इस्राएलियों को लड़ते देखा। उन्‍होंने यह कह कर उन में मेल कराने का प्रयास किया, ‘मित्रो! आप लोग भाई-भाई हैं। आप क्‍यों एक दूसरे का अनिष्‍ट करना चाहते हैं?’


मैं केवल उन बातों की चर्चा करने का साहस करूँगा, जिन्‍हें मसीह ने गैर-यहूदियों को विश्‍वास की अधीनता स्‍वीकार करने के लिए मेरे द्वारा वचन और कर्म से,


मैं जो कुछ भी हूँ परमेश्‍वर की कृपा से हूँ और जो कृपा मुझे उससे मिली, वह व्‍यर्थ नहीं हुई। मैंने उन सबसे अधिक परिश्रम किया है-मैंने नहीं, बल्‍कि परमेश्‍वर की कृपा ने, जो मुझ में विद्यमान है।


हम परमेश्‍वर के सहकर्मी हैं और आप लोग हैं — परमेश्‍वर का खेत। आप परमेश्‍वर का भवन भी हैं।


परमेश्‍वर के सहकर्मी होने के नाते हम आप लोगों से यह अनुरोध करते हैं कि परमेश्‍वर की जो कृपा आप को मिली है, उसे व्‍यर्थ न होने दें;


इस उद्देश्‍य की पूर्ति के लिए मैं उनके सामर्थ्य से, जो मुझ में प्रबल रूप से क्रियाशील है, प्रेरित हो कर कठिन परिश्रम करते हुए संघर्ष में लगा रहता हूँ।


यहूदा प्रदेश के सैनिकों ने शिमशोन से कहा, ‘हम तुम्‍हें पकड़ने के लिए आए हैं। हम तुम्‍हें पलिश्‍तियों के हाथ में सौंप देंगे।’ शिमशोन ने उनसे कहा, ‘मुझसे शपथ खाओ कि तुम स्‍वयं मुझ पर प्रहार नहीं करोगे।’


परन्‍तु इस्राएली सैनिकों ने शाऊल से कहा, ‘क्‍या योनातन को मृत्‍यु-दण्‍ड दिया जाएगा, जिसने इस्राएली राष्‍ट्र के लिए यह महा विजय प्राप्‍त की है? यह कदापि नहीं होगा। जीवन्‍त प्रभु की सौगन्‍ध! उसके सिर का एक बाल भी भूमि पर नहीं गिरेगा। उसने परमेश्‍वर की सहायता से आज यह कार्य सम्‍पन्न किया है।’ अत: सैनिकों ने योनातन को छुड़ा लिया और उसको मृत्‍यु-दण्‍ड नहीं दिया गया।


उसने अपने प्राण को हथेली पर रखकर पलिश्‍तियों का वध किया था। यों प्रभु ने समस्‍त इस्राएली जाति को एक महान विजय प्रदान की। आपने स्‍वयं उसको देखा, और आनन्‍द मनाया था। तब आप क्‍यों निर्दोष व्यक्‍ति के प्रति पाप करना चाहते हैं? क्‍यों आप दाऊद की अकारण हत्‍या करना चाहते हैं?’


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