Biblia Todo Logo
ऑनलाइन बाइबिल

- विज्ञापनों -




नीतिवचन 13:7 - पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI)

7 झूठी शानवाला व्यक्‍ति धन-सम्‍पत्ति न होने पर भी धनी होने का ढोंग करता है; प्रदर्शन को पसन्‍द न करनेवाला मनुष्‍य धनी होने पर भी निर्धन होने का बहाना करता है।

अध्याय देखें प्रतिलिपि

पवित्र बाइबल

7 एक व्यक्ति जो धनी का दिखावा करता है; किन्तु उसके पास कुछ भी नहीं होता है। और एक अन्य जो दरिद्र का सा आचरण करता किन्तु उसके पास बहुत धन होता है।

अध्याय देखें प्रतिलिपि

Hindi Holy Bible

7 कोई तो धन बटोरता, परन्तु उसके पास कुछ नहीं रहता, और कोई धन उड़ा देता, तौभी उसके पास बहुत रहता है।

अध्याय देखें प्रतिलिपि

पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI)

7 कोई तो धन बटोरता, परन्तु उसके पास कुछ नहीं रहता, और कोई धन उड़ा देता, तौभी उसके पास बहुत रहता है।

अध्याय देखें प्रतिलिपि

नवीन हिंदी बाइबल

7 कोई तो धनी होने का दिखावा करता है, जबकि उसके पास कुछ नहीं होता; और कोई कंगाल होने का दिखावा करता है, जबकि उसके पास बहुत धन-संपत्ति होती है।

अध्याय देखें प्रतिलिपि

सरल हिन्दी बाइबल

7 कोई तो धनाढ्य होने का प्रदर्शन करता है, किंतु वस्तुतः वह निर्धन होता है; अन्य ऐसा है, जो प्रदर्शित करता है कि वह निर्धन है, किंतु वस्तुतः वह है अत्यंत सम्पन्‍न!

अध्याय देखें प्रतिलिपि




नीतिवचन 13:7
17 क्रॉस रेफरेंस  

तुम यह कहते हो, ‘मैं धनी हूँ, मैं समृद्ध हो गया, मुझे किसी बात की कमी नहीं’, और तुम यह नहीं समझते कि तुम अभागे हो, दयनीय हो, दरिद्र, अन्‍धे और नंगे हो।


साधारण मनुष्‍य, जो मेहनत की सूखी रोटी खाता है, वह बड़प्‍पन-प्रिय मनुष्‍य से श्रेष्‍ठ है जिसके पास खाने के लिए रोटी भी नहीं!


मुक्‍त हृदय से लुटानेवाला मनुष्‍य धनवान होता जाता है; पर जो मनुष्‍य जितना देना चाहिए उतना नहीं देता; वह अभावग्रस्‍त हो जाता है।


हम दु:खी हैं, फिर भी हम हर समय आनन्‍दित हैं। हम दरिद्र हैं, फिर भी हम बहुतों को सम्‍पन्न बनाते हैं। हमारे पास कुछ नहीं है; फिर भी सब कुछ हमारा है।


यह अमूल्‍य निधि हममें-मिट्टी के पात्रों में रखी रहती है, जिससे यह स्‍पष्‍ट हो जाये कि यह अलौकिक सामर्थ्य हमारा अपना नहीं, बल्‍कि परमेश्‍वर का है।


वे उन्‍हें स्‍वतन्‍त्रता का प्रलोभन देते हैं, जब कि वे स्‍वयं भ्रष्‍टता के दास हैं; क्‍योंकि जो जिसके अधीन है, वह उसी का दास है।


मेरे प्रिय भाइयो और बहिनो! सुन लीजिए। क्‍या परमेश्‍वर ने उन लोगों को नहीं चुना है, जो संसार की दृष्‍टि में दरिद्र हैं, ताकि वे विश्‍वास के धनी हो जायें और उस राज्‍य के उत्तराधिकारी बनें, जिसे उसने अपने भक्‍तों को प्रदान करने की प्रतिज्ञा की है?


यही दशा उन लोगों की होती है जो अपने लिए तो धन एकत्र करते हैं, किन्‍तु परमेश्‍वर की दृष्‍टि में वे धनी नहीं हैं।”


अचानक प्राप्‍त हुआ धन घर में टिकता नहीं; पर अपने परिश्रम से थोड़ा-थोड़ा धन एकत्र करनेवाला मनुष्‍य उसको और बढ़ाता है।


मैं तुम्‍हारे संकट और दरिद्रता से परिचित हूँ। फिर भी तुम धनी हो; और मैं यह भी जानता हूँ कि वे लोग तुम्‍हारी कितनी बदनामी करते हैं जो अपने को “यहूदा-वासी” कहते हैं, किन्‍तु जो यहूदा के नहीं, बल्‍कि शैतान के सभागृह के सदस्‍य हैं।


लगता है कि अभी से आप लोग तृप्‍त हो गये हैं। आप धनी हो गये हैं। आप को हमारे बिना राज्‍य मिल चुका है। कितना अच्‍छा होता यदि आप को सचमुच राज्‍य मिला होता। तब हम भी शायद आपके राज्‍य के सहभागी बन जाते!


“अपनी सम्‍पत्ति बेच दो और दान कर दो। अपने लिए ऐसे बटुए तैयार करो, जो कभी छीजते नहीं। स्‍वर्ग में अक्षय धन जमा करो। वहाँ न तो चोर पहुँचता है और न कीड़े खाते हैं;


परन्‍तु परमेश्‍वर ने उस से कहा, ‘मूर्ख! इसी रात तेरा प्राण तुझ से ले लिया जाएगा और तूने जो इकट्ठा किया है, वह अब किसका होगा?’


मनुष्‍य का जीवन उसके धन से बच सकता है; पर गरीब के पास अपने प्राण की रक्षा के लिए कुछ नहीं होता।


हमारे पर का पालन करें:

विज्ञापनों


विज्ञापनों