14 लेवीवंशियों ने अपनी घास वाली भूमि और अपने खेत छोड़ दिये और वे यहूदा तथा यरूशलेम आ गए। लेवीवंशियों ने यह इसलिये किया कि यारोबाम और उसके पुत्रों ने उन्हें यहोवा के याजक के रूप में सेवा कराने से इन्कार कर दिया।
14 यों लेवीय अपनी चराइयों और निज भूमि छोड़ कर, यहूदा और यरूशलेम में आए, क्योंकि यारोबाम और उसके पुत्रों ने उन को निकाल दिया था कि वे यहोवा के लिये याजक का काम न करें।
14 यों लेवीय अपनी चराइयों और निज भूमि को छोड़कर, यहूदा और यरूशलेम में आए, क्योंकि यारोबाम और उसके पुत्रों ने उनको निकाल दिया था कि वे यहोवा के लिये याजक का काम न करें,
14 यरोबोअम और उसके पुत्रों द्वारा याहवेह के लिए लेवियों की पौरोहितिक सेवा पर रोक लगाने के कारण वे अपनी चरागाह और संपत्ति को त्याग कर यहूदिया और येरूशलेम आ गए.
14 अतः लेवीय अपनी चराइयों और निज भूमि छोड़कर, यहूदा और यरूशलेम में आए, क्योंकि यारोबाम और उसके पुत्रों ने उनको निकाल दिया था कि वे यहोवा के लिये याजक का काम न करें,
तुमने अपने मध्य में से प्रभु के पुरोहितों को हारून के वंशजों और लेवी वंशीय उप-पुरोहितों को निकाल दिया, और उनके स्थान पर मनमाने पुरोहित नियुक्त कर लिए, जैसे अन्य जातियां करती हैं। जो भी आदमी पुरोहित बनने के लिए एक बैल और सात मेढ़े लेकर तुम्हारे पास आता है, तुम उसका अभिषेक कर देते हो, और वह बछड़े की मूर्तियों का पुरोहित बन जाता है, जो ईश्वर नहीं है!
इस घटना के पश्चात् भी यारोबआम अपने बुरे मार्ग से नहीं लौटा। उसने सामान्य लोगों के मध्य से व्यक्तियों को चुना, और उनको पहाड़ी शिखर की वेदियों के पुरोहित नियुक्त कर दिया। जो व्यक्ति पुरोहित-कार्य के लिए स्वयं को प्रस्तुत करता था, वह उसको पहाड़ी शिखर की वेदी का पुरोहित नियुक्त कर देता था।
तुम इस्राएली समाज की पैतृक अधिकार की भूमि में से नगर दोगे। अत: बड़े कुलों की भूमि से अधिक नगर लेना, और छोटे कुलों में से कम। प्रत्येक कुल अपनी पैतृक भूमि के अनुपात के अनुसार लेवियों को नगर देगा।’