व्यवस्थाविवरण 6:13 - पवित्र बाइबल13 यहोवा अपने परमेश्वर का सम्मान करो और केवल उसी की सेवा करो। वचन देने के लिए तुम केवल उसी के नाम का उपयोग करोगे। अध्याय देखेंHindi Holy Bible13 अपने परमेश्वर यहोवा का भय मानना; उसी की सेवा करना, और उसी के नाम की शपथ खाना। अध्याय देखेंपवित्र बाइबिल CL Bible (BSI)13 तू अपने प्रभु परमेश्वर से डरना और उसकी भक्ति करना। तू उसकी सेवा करना, और उसके नाम की शपथ खाना। अध्याय देखेंपवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI)13 अपने परमेश्वर यहोवा का भय मानना; उसी की सेवा करना, और उसी के नाम की शपथ खाना। अध्याय देखेंसरल हिन्दी बाइबल13 श्रद्धा तुम सिर्फ याहवेह, तुम्हारे परमेश्वर के प्रति रखोगे, तुम आराधना सिर्फ उनकी करोगे, और शपथ उन्हीं की लिया करोगे. अध्याय देखेंइंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 201913 अपने परमेश्वर यहोवा का भय मानना; उसी की सेवा करना, और उसी के नाम की शपथ खाना। (मत्ती 4:10, लूका 4:8) अध्याय देखें |
अब लोग धरती से आशीषें माँगतें हैं किन्तु आगे आनेवाले दिनों में वे विश्वासयोग्य परमेश्वर से आशीष माँगा करेंगे। अभी लोग उस समय धरती की शक्ति के भरोसे रहा करते हैं जब वे कोई वचन देते हैं। किन्तु भविष्य में वे विश्वसनीय परमेश्वर के भरोसे रहा करेंगे। क्यों क्योंकि पिछले दिनों की सभी विपत्तियाँ भूला दी जायेंगी। मेरे लोग फिर उन पिछली विपत्तियों को याद नहीं करेंगे।
मैं चाहता हूँ कि वे लोग अब मेरे लोगों की तरह रहना सीख लें। बीते समय में उन लोगों ने हमारे लोगों को शपथ खाने के लिये बाल के नाम का उपयोग करना सिखाया। अब, मैं चाहता हूँ कि वे लोग अपना पाठ ठीक वैसे ही अच्छी तरह पढ़ लें। मैं चाहता हूँ कि वे लोग मेरे नाम का उपयोग करना सीखें। मैं चाहता हूँ कि वे लोग कहें, ‘क्योंकि यहोवा शाश्वत है।’ यदि वे लोग वैसा करते हैं तो मैं उन्हें सफल होने दूँगा और उन्हें अपने लोगों के बीच रहने दूँगा।
यदि तुम वे काम करोगे तो प्रतिज्ञा करने के लिये मेरे नाम का उपयोग करने योग्य बनोगे, तुम यह कहने योग्य होगे, ‘जैसा कि यहोवा शाश्वत है।’ तुम इन शब्दों का उपयोग सच्चे, ईमानदारी भरे और सही तरीके से करने योग्य बनोगे। यदि तुम ऐसा करोगे तो राष्ट्र यहोवा द्वारा वरदान पाएगा और वे यहोवा द्वारा किये गए कामों को गर्व से बखान करेंगे।”
परमेश्वर ने कहा, “यहूदा, मुझे कारण बताओ कि मुझे तुमको क्षमा क्यों कर देना चाहिये तुम्हारी सन्तानों ने मुछे त्याग दिया है। उन्होंने उन देवमूर्तियों से प्रतिज्ञा की है जो परमेश्वर हैं ही नहीं। मैंने तुम्हारी सन्तानों को हर एक चीज़ दी जिसकी जरुरत उन्हें थी। किन्तु फिर भी वे विश्वासघाती रहे! उन्होंने वेश्यालयों में बहुत समय बिताया।
वह नबी या स्वप्न फल ज्ञाता मार दिया जाना चाहिए। क्यों? क्योंकि वह ही है जो तुमसे यहोवा तुम्हारे परमेश्वर की आज्ञा मानने से रोक रहा है। यहोवा एक ही है जो तुमको मिस्र से बाहर लाया। उसने तुमको वहाँ की दासता के जीवन से स्वतन्त्र किया। वह व्यक्ति यह कोशिश कर रहा है कि तुम यहोवा अपने परमेश्वर के आदेश के अनुसार जीवन मत बिताओ। इसलिए अपने लोगों से बुराई को दूर करने के लिए उस व्यक्ति को अवश्य मार डालना चाहिए।
तब यहोशू ने लोगों से कहा, “अब तुम लोगों ने यहोवा का कथन सुन लिया है। इसलिये तुम्हें यहोवा का सम्मान करना चाहिए और उसकी सच्ची सेवा करनी चाहिए। उन असत्य देवताओं को फेंक दो जिन्हें तुम्हारे पूर्वज पूजते थे। यह सब कुछ बहुत समय पहले फरात नदी की दूसरी ओर, मिस्र में भी हुआ था। अब तुम्हें यहोवा की सेवा करनी चाहिये।
किन्तु दाऊद ने उत्तर दिया, “तुम्हारे पिता अच्छी तरह जानते हैं कि मैं तुम्हारा मित्र हूँ। तुम्हारे पिता ने अपने मन में यह सोचा है, ‘योनातान को इस विषय में जानकारी नहीं होनी चाहिये। यदि वह जानेगा तो दाऊद से कह देगा।’ किन्तु जैसे यहोवा का होना सत्य है और तुम जीवित हो, उसी प्रकार यह भी सत्य है कि मैं मृत्यु के बहुत निकट हूँ!”
शमूएल ने इस्राएल के लोगों से कहा, “यदि तुम सचमुच यहोवा के पास सच्चे हृदय से लौट रहे हो तो तुम्हें विदेशी देवताओं को फेंक देना चाहिये। तुम्हें अश्तोरेत की मूर्तियों को फेंक देना चाहिये और तुम्हें पूरी तरह यहोवा को अपना समर्पण करना चाहिये! तुम्हें केवल यहोवा की ही सेवा करनी चाहिये। तब यहोवा तुम्हें पलिश्तियों से बचायेगा।”