11 उस समय इस्राएल के सभी लोग यहोवा, अपने परमेश्वर से मिलने के लिए उस विशेष स्थान पर आएंगे जिसे वे चुनेंगे। तब तुम लोगों में इन नियमों को ऐसे पढ़ना जिससे वे इसे सुन सकें।
11 सब इस्राएली अपने प्रभु परमेश्वर के सम्मुख उस स्थान पर उपस्थित होंगे, जिसको वह स्वयं चुनेगा। तब तुम समस्त इस्राएलियों के सम्मुख इस व्यवस्था को इस प्रकार पढ़ना कि सब उसको सुन सकें।
11 जब सारा इस्राएल याहवेह तुम्हारे परमेश्वर के सामने उस स्थान पर उपस्थित होता है, जिसे वह खुद चुनेंगे, तब तुम यह व्यवस्था इस ढंग से पढ़ोगे, कि इसे सारा इस्राएल सुन ले.
तब राजा यहोवा के मन्दिर गया। सभी यहूदा के लोग और यरूशलेम में रहने वाले लोग उसके साथ गए। याजक, नबी, और सभी व्यक्ति, सबसे अधिक महत्वपूर्ण से सबसे कम महत्व के सभी उसके साथ गए। तब उसने साक्षीपत्र की पुस्तक पढ़ी। यह वही नियम की पुस्तक थी जो यहोवा के मन्दिर में मिली थी। योशिय्याह ने उस पुस्तक को इस प्रकार पढ़ा कि सभी लोग उसे सुन सकें।
यहोवा तुम्हारा परमेश्वर अपने मन्दिर के लिए तुम्हारे परिवार समूह से विशेष स्थान चुनेगा। वह वहाँ अपना नाम प्रतिष्ठिट करेगा। तुम्हें उसकी उपासना करने के लिए उस स्थान पर जाना चाहिए।
“जब तुम अपने प्रदेश में पहुँचोगे तो मैं तुम्हारे शत्रुओं को उस प्रदेश से बाहर जाने को विवश करूँगा। मैं तुम्हारी सीमाओं को बढ़ाऊँगा और तुम अधिकाधिक प्रदेश पाओगे। तुम अपने परमेश्वर यहोवा के सामने वर्ष में तीन बार जाओगे। और उन दिनों तुम्हारा देश तुम से लेने का कोई भी प्रयत्न नहीं करेगा।
अनादि काल से मूसा की व्यवस्था के विधान का पाठ करने वाले नगर-नगर में पाए जाते रहे हैं। हर सब्त के दिन मूसा की व्यवस्था के विधान का आराधनालयों में पाठ होता रहा है।”
व्यवस्था के विधान और नबियों के ग्रन्थों का पाठ कर चुकने के बाद यहूदी प्रार्थना सभागार के अधिकारियों ने उनके पास यह संदेश कहला भेजा, “हे भाईयों, लोगों को शिक्षा देने के लिये तुम्हारे पास कहने को कोई और वचन है तो उसे सुनाओ।”
वे लोग वहाँ लगभग तीन घण्टे खड़े रहे और उन्होंने अपने यहोवा परमेश्वर की व्यवस्था के विधान की पुस्तक का पाठ किया और फिर तीन घण्टे और अपने यहोवा परमेश्वर की उपासना करते हुए उन्होंने स्वयं को नीचे झुका लिया तथा अपने पापों को स्वीकार किया।
फिर महीने की दूसरी तारीख को सभी परिवारों के मुखिया, एज्रा, याजकों और लेवी वंशियो, से मिलने गये और व्यवस्था के विधान के वचनों को समझने के लिए सभी लोग शिक्षक एज्रा को घेर कर खड़े हो गये।
उस पर्व के हर दिन एज्रा उन लोगों के लिये व्यवस्था के विधान की पुस्तक में से पाठ करता रहा। उस पर्व के पहले दिन से अंतिम दिन तक एज्रा उन लोगों को व्यवस्था का विधान पढ़ कर सुनाता रहा। इस्राएल के लोगों ने सात दिनों तक उस पर्व को मनाया। फिर व्यवस्था के विधान के अनुसार आठवें दिन लोग एक विशेष सभा के लिए परस्पर एकत्र हुए।
तब यहोवा अपने लिये विशेष स्थान चुनेगा वह वहाँ अपना नाम प्रतिष्ठित करेगा और तुम उन सभी चीजों को वहीं लाओगे जिनके लिए मैं आदेश दे रहा हूँ। वहीं तुम अपनी होमबलि, अपनी बलियाँ, दशमांश, अपनी विशेष भेंट, यहोवा को वचन दी गई भेंट, अपनी स्वेच्छा भेंट और अपने मवेशियों के झुण्ड एवं रेवड़ का पहलौठा बच्चा लाओ।
तुम्हें उसके उन नियमों, विधियों, उपदेशों और आदेशों का पालन करना चाहिये जिन्हें उसने तुम्हारे लिये लिखा। तुम्हें इनका पालन सदैव करना चाहिये। तुम्हें अन्य देवताओं का सम्मान नहीं करना चाहिये।