16 मन्दिर में अपने लिए निर्धारित स्थान पर वे वैसे ही बैठे जैसा परमेश्वर के व्यक्ति मूसा के नियम में कहा गया था। लेवीवंशियों ने याजकों को खून दिया। तब याजकों ने खून को वेदी पर छिड़का।
16 और वे अपने नियम के अनुसार, अर्थात परमेश्वर के जन मूसा की व्यवस्था के अनुसार, अपने अपने स्थान पर खड़े हुए, और याजकों ने रक्त को लेवियों के हाथ से ले कर छिड़क दिया।
16 तत्पश्चात् वे परमेश्वर के जन मूसा की व्यवस्था के अनुसार अपने-अपने नियत स्थान पर खड़े हो गए। पुरोहितों ने उप-पुरोहितों के हाथ से रक्त लिया, और उसको छिड़का।
16 वे अपने नियम के अनुसार, अर्थात् परमेश्वर के जन मूसा की व्यवस्था के अनुसार, अपने अपने स्थान पर खड़े हुए, और याजकों ने रक्त को लेवियों के हाथ से लेकर छिड़क दिया।
16 वे अपने ठहराए गए स्थानों पर खड़े हो गए, जैसा परमेश्वर के जन मोशेह द्वारा बताया गया था. पुरोहित उस लहू का छिड़काव करते जा रहे थे, जो उन्हें लेवियों द्वारा सौंपा जा रहा था.
16 वे अपने नियम के अनुसार, अर्थात् परमेश्वर के जन मूसा की व्यवस्था के अनुसार, अपने-अपने स्थान पर खड़े हुए, और याजकों ने रक्त को लेवियों के हाथ से लेकर छिड़क दिया।
अतल्याह ने उस स्तम्भ के सहारे राजा को देखा जहाँ राजा प्रायः खड़े होते थे। उसने प्रमुखों और लोगों को राजा के लिये तुरही बजाते हुये भी देखा। उसने देखा कि सभी लोग बहुत प्रसन्न थे। उसने तुरही को बजते हुए सुना और उसने अपने वस्त्र यह प्रकट करने के लिये फाड़ डाले कि उसे बड़ी घबराहट है। तब अतल्याह चिल्ला उठी, “षडयन्त्र! षडयन्त्र!”
तब राजा अपने स्थान पर खड़ा हुआ। उसने यहोवा के साथ वाचा की। उसने यहोवा का अनुसरण करने की और यहोवा के आदेशों, विधियों और नियमों का पालन करने की वाचा की। योशिय्याह पूरे हृदय और आत्मा से आज्ञा पालन करने को सहमत हुआ। वह पुस्तक में लिखे वाचा के कथनों का पालन करने को सहमत हुआ।
आसाप के परिवार के लेवीवंशी गायक उन स्थानों पर पहुँचे जिन्हें राजा दाऊद ने उनके खड़े होने के लिये चुना था। वे: आसाप, हेमान और राजा का नबी यदूतून थे। हर एक द्वार पर द्वारपाल अपना स्थान नहीं छोड़ सकते थे क्योंकि उनके लेवीवंशी भाईयों ने हर एक चीज़ उनके फसह पर्व के लिये तैयार कर दी थी।
“व्यक्ति को चाहिए कि वह बछड़े को यहोवा के सामने मारे। हारुन के याजक पुत्रों को बछडे का खून लाना चाहिए। उन्हें मिलापवाले तम्बू के द्वारा की वेदी पर चारों ओर खून छिड़कना चाहिए।