इसके अलावा जो विधियां, नियम, व्यवस्था और आदेश उन्होंने तुम्हारे लिए लिखवा दिए हैं, उन्हें तुम हमेशा पालन करते रहो. साथ ही, यह ज़रूरी नहीं कि तुम पराए देवताओं से डरो.
व्यवस्थाविवरण 4:44 - सरल हिन्दी बाइबल इस्राएलियों के सामने, जो विधि मोशेह ने तय की थी, वह यह है. पवित्र बाइबल इस्राएली लोगों के लिए जो नियम मूसा ने दिया वह यह है। Hindi Holy Bible फिर जो व्यवस्था मूसा ने इस्राएलियों को दी वह यह है; पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) जो व्यवस्था मूसा ने इस्राएली समाज के सम्मुख स्थापित की थी, वह यही है। पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) फिर जो व्यवस्था मूसा ने इस्राएलियों को दी वह यह है : इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 फिर जो व्यवस्था मूसा ने इस्राएलियों को दी वह यह है |
इसके अलावा जो विधियां, नियम, व्यवस्था और आदेश उन्होंने तुम्हारे लिए लिखवा दिए हैं, उन्हें तुम हमेशा पालन करते रहो. साथ ही, यह ज़रूरी नहीं कि तुम पराए देवताओं से डरो.
यही वे आदेश हैं, जिन्हें याहवेह ने मोशेह को इस्राएल के घराने के लिए सीनायी पर्वत पर दिए.
“मेरे सेवक मोशेह के कानून को याद करो, वह आज्ञा और कानून जिसे मैंने उसे होरेब पहाड़ पर सब इस्राएलियों के लिये दिया था.
ये सभी वे आदेश तथा नियम हैं, जो मोशेह के द्वारा याहवेह ने इस्राएलियों को येरीख़ो के पास यरदन नदी के निकट मोआब के मैदानों में दिए थे.
जब वे यरदन के पूर्व मोआब देश में ही थे, मोशेह ने व्यवस्था की व्याख्या करना यह कहते हुए शुरू किया कि:
“शापित है वह, जो इस विधान संहिता का पालन करने के द्वारा इनकी पुष्टि नहीं करता.” तब सारी सभा उत्तर में कहेगी, “आमेन!”
और यरदन पार करने पर उन पर इन पूरे विधान को अंकित कर दोगे, कि तुम उस देश में प्रवेश कर सको, जो याहवेह, तुम्हारे परमेश्वर तुम्हें प्रदान कर रहे हैं, एक ऐसा देश, जहां दूध और शहद की बहुतायत है, ठीक जैसी प्रतिज्ञा याहवेह, तुम्हारे पूर्वजों के परमेश्वर ने की थी.
निर्जन प्रदेश में बेज़र, जो रियूबेन के घराने को दिए गए पठार पर हैं, गाद-वंशजों को दिए गए गिलआद में रामोथ और मनश्शेह-वंशजों का दिया गया बाशान का गोलान.
जब इस्राएल मिस्र देश से निकलकर यरदन नदी की पूर्व दिशा की घाटी में बेथ-पिओर नगर के सामने आ चुके थे,
ये हैं जो राजा यरदन के पूर्व अराबाह में थे, जिनको इस्राएलियों ने मारकर उनकी भूमि ली, इन राज्यों की सीमा आरनोन घाटी से लेकर हरमोन पर्वत तक तथा पूरे यरदन घाटी तक थी: