ऑनलाइन बाइबिल

विज्ञापनों


संपूर्ण बाइबिल पुराना वसीयतनामा नया करार




भजन संहिता 95:1 - पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI)

आओ हम यहोवा के लिये ऊँचे स्वर से गाएँ, अपने उद्धार की चट्टान का जयजयकार करें।

अध्याय देखें

पवित्र बाइबल

आओ हम यहोवा के गुण गाएं! आओ हम उस चट्टान का जय जयकार करें जो हमारी रक्षा करता है।

अध्याय देखें

Hindi Holy Bible

आओ हम यहोवा के लिये ऊंचे स्वर से गाएं, अपने उद्धार की चट्टान का जयजयकार करें!

अध्याय देखें

पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI)

आओ, हम प्रभु का जय-जयकार करें; अपने उद्धार की चट्टान का जयघोष करें।

अध्याय देखें

नवीन हिंदी बाइबल

आओ हम यहोवा के लिए आनंदपूर्वक गाएँ; अपने उद्धार की चट्टान का जय जयकार करें।

अध्याय देखें

सरल हिन्दी बाइबल

चलो, हम याहवेह के स्तवन में आनंदपूर्वक गाएं; अपने उद्धार की चट्टान के लिए उच्च स्वर में मनोहारी संगीत प्रस्तुत करें.

अध्याय देखें

इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019

आओ हम यहोवा के लिये ऊँचे स्वर से गाएँ, अपने उद्धार की चट्टान का जयजयकार करें!

अध्याय देखें



भजन संहिता 95:1
36 क्रॉस रेफरेंस  

“यहोवा जीवित है; मेरी चट्टान धन्य है, और परमेश्‍वर जो मेरे उद्धार की चट्टान है, उसकी महिमा हो।


उसका गीत गाओ, उसका भजन करो, उसके सब अश्‍चर्यकर्मों का ध्यान करो।


अत: वे सारंगियाँ, वीणाएँ और तुरहियाँ बजाते हुए यरूशलेम में यहोवा के भवन को आए।


हे सारी पृथ्वी के लोगो, यहोवा का जयजयकार करो!


मैं करुणा और न्याय के विषय गाऊँगा; हे यहोवा, मैं तेरा ही भजन गाऊँगा।


लोग यहोवा की करुणा के कारण, और उन आश्‍चर्यकर्मों के कारण जो वह मनुष्यों के लिये करता है, उसका धन्यवाद करें।


लोग यहोवा की करुणा के कारण, और उन आश्‍चर्यकर्मों के कारण जो वह मनुष्यों के लिये करता है, उसका धन्यवाद करें।


लोग यहोवा की करुणा के कारण, और उन आश्‍चर्यकर्मों के कारण, जो वह मनुष्यों के लिये करता है, उसका धन्यवाद करें!


हे जाति जाति के सब लोगो, यहोवा की स्तुति करो! हे राज्य राज्य के सब लोगो, उसकी प्रशंसा करो!


यहोवा का धन्यवाद करो, क्योंकि वह भला है; और उसकी करुणा सदा की है!


जितने प्राणी हैं सब के सब याह की स्तुति करें! याह की स्तुति करो*!


धन्य है मेरा पलटा लेनेवाला ईश्‍वर! जिसने देश देश के लोगों को मेरे वश में कर दिया है;


मेरे साथ यहोवा की बड़ाई करो, और आओ हम मिलकर उसके नाम की स्तुति करें!


हे देश देश के लोगो, हमारे परमेश्‍वर को धन्य कहो, और उसकी स्तुति में राग उठाओ,


परमेश्‍वर जो हमारा बल है, उसका गीत आनन्द से गाओ; याकूब के परमेश्‍वर का जयजयकार करो!


वह मुझे पुकारके कहेगा, ‘तू मेरा पिता है, मेरा परमेश्‍वर और मेरे उद्धार की चट्टान है।’


तब मूसा और इस्राएलियों ने यहोवा के लिये यह गीत गाया। उन्होंने कहा, “मैं यहोवा का गीत गाऊँगा, क्योंकि वह महाप्रतापी ठहरा है; घोड़ों समेत सवारों को उसने समुद्र में पटक दिया है।


और मरियम उनके साथ यह टेक गाती गई : “यहोवा का गीत गाओ, क्योंकि वह महाप्रतापी ठहरा है; घोड़ों समेत सवारों को उसने समुद्र में फेंक दिया है।”


इन्हीं में हर्ष और आनन्द का शब्द, दुल्हे दुल्हिन का शब्द, और इस बात के कहनेवालों का शब्द फिर सुनाई पड़ेगा : ‘सेनाओं के यहोवा का धन्यवाद करो, क्योंकि यहोवा भला है, और उसकी करुणा सदा की है!’ और यहोवा के भवन में धन्यवादबलि लानेवालों का भी शब्द सुनाई देगा; क्योंकि मैं इस देश की दशा पहले के समान ज्यों की त्यों कर दूँगा, यहोवा का यही वचन है।


जो भीड़ आगे–आगे जाती और पीछे–पीछे चली आती थी, पुकार–पुकार कर कहती थी, “दाऊद के सन्तान को होशाना, धन्य है वह जो प्रभु के नाम से आता है, आकाश में होशाना।”


और सब ने एक ही आत्मिक जल पीया, क्योंकि वे उस आत्मिक चट्टान से पीते थे जो उनके साथ–साथ चलती थी, और वह चट्टान मसीह था।


और आपस में भजन और स्तुतिगान और आत्मिक गीत गाया करो, और अपने–अपने मन में प्रभु के सामने गाते और कीर्तन करते रहो।


“परन्तु यशूरून मोटा होकर लात मारने लगा; तू मोटा और हृष्‍ट–पुष्‍ट हो गया, और चर्बी से छा गया है; तब उसने अपने सृजनहार ईश्‍वर को तज दिया, और अपने उद्धारमूल चट्टान को तुच्छ जाना।


मसीह के वचन को अपने हृदय में अधिकाई से बसने दो, और सिद्ध ज्ञान सहित एक दूसरे को सिखाओ और चिताओ, और अपने अपने मन में अनुग्रह के साथ परमेश्‍वर के लिये भजन और स्तुतिगान और आत्मिक गीत गाओ।


वे सिंहासन के सामने और चारों प्राणियों और प्राचीनों के सामने एक नया गीत गा रहे थे। उन एक लाख चौवालीस हज़ार जनों को छोड़, जो पृथ्वी पर से मोल लिये गए थे, कोई वह गीत न सीख सकता था।


वे परमेश्‍वर के दास मूसा का गीत, और मेम्ने का गीत गा गाकर कहते थे, “हे सर्वशक्‍तिमान प्रभु परमेश्‍वर, तेरे कार्य महान् और अद्भुत हैं; हे युग–युग के राजा, तेरी चाल ठीक और सच्‍ची है”।


फिर मैं ने बड़ी भीड़ का सा और बहुत जल का सा शब्द, और गर्जन का सा बड़ा शब्द सुना: “हल्‍लिलूय्याह! क्योंकि प्रभु हमारा परमेश्‍वर सर्वशक्‍तिमान राज्य करता है।


वे यह नया गीत गाने लगे, “तू इस पुस्तक के लेने, और इसकी मुहरें खोलने के योग्य है; क्योंकि तूने वध होकर अपने लहू से हर एक कुल और भाषा और लोग और जाति में से परमेश्‍वर के लिये लोगों को मोल लिया है,