तब वह दास अपने स्वामी के ऊँटों में से दस ऊँट छाँटकर, उसके सब उत्तम–उत्तम पदार्थों में से कुछ कुछ लेकर चला; और मेसोपोटामिया में नाहोर के नगर के पास पहुँचा।
उत्पत्ति 29:2 - पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) उसने दृष्टि करके क्या देखा कि मैदान में एक कुआँ है, और उसके पास भेड़–बकरियों के तीन झुण्ड बैठे हुए हैं; क्योंकि जो पत्थर उस कुएँ के मुँह पर धरा रहता था, जिसमें से झुण्डों को जल पिलाया जाता था, वह भारी था। पवित्र बाइबल याकूब ने दृष्टि डाली, उसने मैदान में एक कुआँ देखा। वहाँ कुएँ के पास भेड़ों के तीन रेवड़े पड़े हुई थे। यही वह कुआँ था जहाँ ये भेड़ें पानी पीती थीं। वहाँ एक बड़े शिला से कुएँ का मुँह ढका था। Hindi Holy Bible और उसने दृष्टि करके क्या देखा, कि मैदान में एक कुंआ है, और उसके पास भेड़-बकरियों के तीन झुण्ड बैठे हुए हैं; क्योंकि जो पत्थर उस कुएं के मुंह पर धरा रहता था, जिस में से झुण्डों को जल पिलाया जाता था, वह भारी था। पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) उसे मैदान में एक कुआं दिखाई दिया। वहाँ कुएँ के पास भेड़-बकरियों के तीन रेवड़ बैठे थे; क्योंकि कुएँ से ही उन्हें पानी पिलाया जाता था। कुएँ के मुँह पर एक बड़ा पत्थर था। नवीन हिंदी बाइबल जब उसने दृष्टि की तो उसे मैदान में एक कुआँ दिखाई दिया, और देखो, भेड़-बकरियों के तीन झुंड उसके पास बैठे हुए थे; क्योंकि जिस कुएँ में से झुंडों को पानी पिलाया जाता था उसके मुँह पर बड़ा पत्थर धरा रहता था। सरल हिन्दी बाइबल तब उन्हें मैदान में एक कुंआ और भेड़-बकरियों के तीन झुंड बैठे नज़र आये और उन्होंने देखा कि जिस कुएं से भेड़-बकरियों को पानी पिलाते थे उस कुएं पर बड़ा पत्थर रखा हुआ था. इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 और उसने दृष्टि करके क्या देखा, कि मैदान में एक कुआँ है, और उसके पास भेड़-बकरियों के तीन झुण्ड बैठे हुए हैं; क्योंकि जो पत्थर उस कुएँ के मुँह पर धरा रहता था, जिसमें से झुण्डों को जल पिलाया जाता था, वह भारी था। |
तब वह दास अपने स्वामी के ऊँटों में से दस ऊँट छाँटकर, उसके सब उत्तम–उत्तम पदार्थों में से कुछ कुछ लेकर चला; और मेसोपोटामिया में नाहोर के नगर के पास पहुँचा।
उसने ऊँटों को नगर के बाहर एक कुएँ के पास बैठाया। वह संध्या का समय था, जिस समय स्त्रियाँ जल भरने के लिये निकलती हैं।
देख, मैं जल के इस सोते के पास खड़ा हूँ; और नगरवासियों की बेटियाँ जल भरने के लिये निकली आती हैं :
और जब सब झुण्ड वहाँ इकट्ठा हो जाते तब चरवाहे उस पत्थर को कूएँ के मुँह पर से लुढ़काकर भेड़–बकरियों को पानी पिलाते, और फिर पत्थर को कुएँ के मुँह पर ज्यों का त्यों रख देते थे।
वे भूखे और प्यासे न होंगे, न लूह और न घाम उन्हें लगेगा, क्योंकि, वह जो उन पर दया करता है, वही उनका अगुवा होगा, और जल के सोतों के पास उन्हें ले चलेगा।
परन्तु जो कोई उस जल में से पीएगा जो मैं उसे दूँगा, वह फिर अनन्तकाल तक प्यासा न होगा; वरन् जो जल मैं उसे दूँगा, वह उसमें एक सोता बन जाएगा जो अनन्त जीवन के लिये उमड़ता रहेगा।”
और याकूब का कूआँ भी वहीं था। अत: यीशु मार्ग का थका हुआ उस कूएँ पर योंही बैठ गया। यह बात छठे घण्टे के लगभग हुई।
क्योंकि मेम्ना जो सिंहासन के बीच में है उनकी रखवाली करेगा, और उन्हें जीवन रूपी जल के सोतों के पास ले जाया करेगा; और परमेश्वर उनकी आँखों से सब आँसू पोंछ डालेगा।
पनघटों के आस पास धनुर्धारियों की बात के कारण, वहाँ वे यहोवा के धर्ममय कामों का, इस्राएल के लिये उसके धर्ममय कामों का वर्णन करेंगे। उस समय यहोवा की प्रजा के लोग फाटकों के पास गए।