मैं तेरे वचन के अनुसार करता हूँ, तुझे बुद्धि और विवेक से भरा मन देता हूँ; यहाँ तक कि तेरे समान न तो तुझ से पहले कोई कभी हुआ, और न बाद में कोई कभी होगा।
1 यूहन्ना 5:14 - पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) और हमें उसके सामने जो हियाव होता है, वह यह है; कि यदि हम उसकी इच्छा के अनुसार कुछ माँगते हैं, तो वह हमारी सुनता है। पवित्र बाइबल हमारा परमेश्वर में यह विश्वास है कि यदि हम उसकी इच्छा के अनुसार उससे विनती करें तो वह हमारी सुनता है Hindi Holy Bible और हमें उसके साम्हने जो हियाव होता है, वह यह है; कि यदि हम उस की इच्छा के अनुसार कुछ मांगते हैं, तो हमारी सुनता है। पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) हमें परमेश्वर पर यह पूर्ण भरोसा है कि यदि हम उसकी इच्छानुसार उस से कुछ भी माँगते हैं, तो वह हमारी सुनता है। नवीन हिंदी बाइबल उसके प्रति हमारा भरोसा यह है कि यदि हम उसकी इच्छा के अनुसार कुछ माँगें, तो वह हमारी सुनता है। सरल हिन्दी बाइबल परमेश्वर के विषय में हमारा विश्वास यह है: जब हम उनकी इच्छा के अनुसार कोई विनती करते हैं, वह उसे सुनते हैं. इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 और हमें उसके सामने जो साहस होता है, वह यह है; कि यदि हम उसकी इच्छा के अनुसार कुछ माँगते हैं, तो हमारी सुनता है। |
मैं तेरे वचन के अनुसार करता हूँ, तुझे बुद्धि और विवेक से भरा मन देता हूँ; यहाँ तक कि तेरे समान न तो तुझ से पहले कोई कभी हुआ, और न बाद में कोई कभी होगा।
मैं ने तो घबराकर कहा था कि मैं यहोवा की दृष्टि से दूर हो गया। तौभी जब मैं ने तेरी दोहाई दी, तब तू ने मेरी गिड़गिड़ाहट को सुन लिया।
क्योंकि यहोवा दरिद्रों की ओर कान लगाता, और अपने लोगों को जो बन्दी हैं तुच्छ नहीं जानता।
दुष्ट जन जिस विपत्ति से डरता है, वह उस पर आ पड़ती है, परन्तु धर्मियों की लालसा पूरी होती है।
मुझ से प्रार्थना कर और मैं तेरी सुनकर तुझे बड़ी–बड़ी और कठिन बातें बताऊँगा जिन्हें तू अभी नहीं समझता।
मैं जानता था कि तू सदा मेरी सुनता है, परन्तु जो भीड़ आस पास खड़ी है, उनके कारण मैं ने यह कहा, जिससे कि वे विश्वास करें कि तू ने मुझे भेजा है।”
यदि तुम मुझ में बने रहो और मेरा वचन तुम में बना रहे, तो जो चाहो माँगो और वह तुम्हारे लिये हो जाएगा।
अब तक तुम ने मेरे नाम से कुछ नहीं माँगा; माँगो, तो पाओगे ताकि तुम्हारा आनन्द पूरा हो जाए।
हम जानते हैं कि परमेश्वर पापियों की नहीं सुनता, परन्तु यदि कोई परमेश्वर का भक्त हो और उसकी इच्छा पर चलता है, तो वह उसकी सुनता है।
जिसमें हम को उस पर विश्वास करने से साहस और भरोसे के साथ परमेश्वर के निकट आने का अधिकार है।
क्योंकि हम मसीह के भागीदार हुए हैं, यदि हम अपने प्रथम भरोसे पर अन्त तक दृढ़ता से स्थिर रहें।
परन्तु मसीह पुत्र के समान परमेश्वर के घर का अधिकारी है; और उस का घर हम हैं, यदि हम साहस पर और अपनी आशा के घमण्ड पर अन्त तक दृढ़ता से स्थिर रहें।
तुम माँगते हो और पाते नहीं, इसलिये कि बुरी इच्छा से माँगते हो, ताकि अपने भोग–विलास में उड़ा दो।
इसलिये तुम आपस में एक दूसरे के सामने अपने–अपने पापों को मान लो, और एक दूसरे के लिये प्रार्थना करो, जिस से चंगे हो जाओ : धर्मी जन की प्रार्थना के प्रभाव से बहुत कुछ हो सकता है।
अत: हे बालको, उसमें बने रहो कि जब वह प्रगट हो तो हमें हियाव हो, और हम उसके आने पर उसके सामने लज्जित न हों।