उसने खम्भों वाला एक बरामदा बनाया। उसकी लम्बाई साढ़े बाईस मीटर, और चौड़ाई साढ़े तेरह मीटर थी। बरामदे के सम्मुख स्तंभावलि तथा एक छज्जा था।
यहेजकेल 41:25 - पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) जैसे दीवारों पर करूबों और खजूर के वृक्षों के चित्र खुदे थे, वैसे ही मध्यभाग के किवाड़ों पर भी अंकित थे। सामने की ड्योढ़ी में लकड़ी के छज्जे थे, जो बाहर की ओर निकले हुए थे। पवित्र बाइबल बीच के कमरे (पवित्र स्थान) के दरवाजों पर करुब (स्वर्गदूत) और खजूर के वृक्ष उकेरे गए थे। वे वैसे ही थे जैसे दीवारों पर उकेरे गए थे। बाहर की ओर प्रवेश कक्ष के बाहरी हिस्से पर लकड़ी की नक्काशी थी Hindi Holy Bible और जैसे मन्दिर की भीतों में करूब और खजूर के पेड़ खुदे हुए थे, वैसे ही उसके किवाड़ों में भी थे, और ओसारे की बाहरी ओर लकड़ी की मोटी मोटी धरनें थीं। पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) जैसे मन्दिर की दीवारों में करूब और खजूर के पेड़ खुदे हुए थे, वैसे ही उसके किवाड़ों में भी थे, और ओसारे की बाहरी ओर लकड़ी की मोटी मोटी धरनें थीं। सरल हिन्दी बाइबल और मुख्य सभागृह के दरवाजों पर दीवारों के समान ही करूबों और खजूर के पेड़ों की नक्काशी की गई थी, और मंडप के सामने लकड़ी की एक डेवढ़ी थी. इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 जैसे मन्दिर की दीवारों में करूब और खजूर के पेड़ खुदे हुए थे, वैसे ही उसके किवाड़ों में भी थे, और ओसारे की बाहरी ओर लकड़ी की मोटी-मोटी धरनें थीं। |
उसने खम्भों वाला एक बरामदा बनाया। उसकी लम्बाई साढ़े बाईस मीटर, और चौड़ाई साढ़े तेरह मीटर थी। बरामदे के सम्मुख स्तंभावलि तथा एक छज्जा था।
फाटक में चारों ओर खिड़कियां थीं, जो भीतर की ओर बाजू के कोठरियों के खम्भों तक संकरी होती चली गई थीं। इसी प्रकार ओसारे में भी भीतर की ओर चारों तरफ खिड़कियां थीं। खम्भों पर खजूर के वृक्ष खुदे थे।
की दीवारों पर चारों ओर तख्ते जड़े हुए थे। तीनों में खिड़कियां थीं, जो चौखटों के नीचे की ओर क्रमश: संकरी होती गई थीं। सम्पूर्ण मन्दिर पर, ड्योढ़ी से छज्जे तक, फर्श से खिड़कियों तक, और खिड़कियों के आसपास, दरवाजे के ऊपर की जगह, अन्तर्गृह में और बाहर की ओर सब जगह, तख्ते जड़े थे। खिड़कियां ढकी हुई थीं। अन्तर्गृह तथा मध्यभाग की दीवारों पर चारों ओर
करूबों और खजूर के वृक्षों के चित्र खुदे थे : एक करूब की आकृति और उसके बाद खजूर के वृक्ष की आकृति; यों दो करूबों के मध्य खजूर के वृक्ष की आकृति अंकित थी। प्रत्येक करूब के दो मुख थे :