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यहेजकेल 17:7 - पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI)

‘एक और विशाल बाज था। उसके डैने भी लम्‍बे-लम्‍बे और सघन परों से भरे थे। अंगूर-बेल ने अपनी जड़ें उसकी ओर फैलाईं उसने वहां से अपनी शाखाएं उसकी ओर झुकाईं, जहां वह लगाई गई थी, कि वह उसको पानी से सींचे।

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पवित्र बाइबल

तब दूसरे बड़े पंखों वाले उकाब ने अंगूर की बेल को देखा। उकाब के लम्बें पंख थे। अंगूर की बेल चाहती थी कि यह नया उकाब उसकी देख—भाल करे। इसलिये इसने अपनी जड़ों को इस उकाब की ओर फैलाया। इसकी शाखायें इस उकाब की ओर फैलीं। इसकी शाखायें इस उकाब की ओर फलीं। इसकी शाखायें उस खेत से दूर फैली जहाँ यह बोई गई थी। अगूंर की बेल चाहती थी कि नया उकाब इसे पानी दे।

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Hindi Holy Bible

फिर और एक लम्बे पंख वाला और परों से भरा हुआ बड़ा उकाब पक्षी था; और वह अंगूर की लता उस स्थान से जहां वह लगाई गई थी, उस दूसरे उकाब की ओर अपनी सोर फैलाने और अपनी डालियां झुकाने लगी कि वह उसे खींचा करे।

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पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI)

“फिर एक और लम्बे पंखवाला और परों से भरा हुआ बड़ा उकाब पक्षी था; और वह अंगूर की लता उस स्थान से जहाँ वह लगाई गई थी, उस दूसरे उकाब की ओर अपनी जड़ फैलाने और अपनी डालियाँ झुकाने लगी कि वह उसे सींचा करे।

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सरल हिन्दी बाइबल

“ ‘पर वहां एक और बड़ा गरुड़ था जिसके शक्तिशाली डैने थे और वह पंखों से भरा हुआ था. अब अंगूर की लता, जहां वह लगायी गई थी, वहां से उसकी जड़ें उस दूसरे गरुड़ की ओर बढ़ने लगीं और उसकी डालियां पानी के लिये उसकी तरफ फैलने लगीं.

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इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019

“फिर एक और लम्बे पंखवाला और परों से भरा हुआ बड़ा उकाब पक्षी था; और वह अंगूर की लता उस स्थान से जहाँ वह लगाई गई थी, उस दूसरे उकाब की ओर अपनी जड़ फैलाने और अपनी डालियाँ झुकाने लगी कि वह उसे खींचा करे।

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यहेजकेल 17:7
7 क्रॉस रेफरेंस  

यरूशलेम नगर और यहूदा प्रदेश ने प्रभु को इतना क्रुद्ध किया कि अन्‍त में प्रभु ने अपने सम्‍मुख से उनको दूर कर दिया।


उनके नियन्‍त्रण में तीन लाख साढ़े सात हजार सैनिक थे। यह मुख्‍य कुमुक दल था, जो शत्रु के आक्रमण के समय राजा की सहायता पूरी शक्‍ति और बल से करता था।


किन्‍तु उसने बेबीलोन के विरुद्ध विद्रोह कर दिया, और मिस्र देश को अपने दूत भेजे ताकि वह उसकी मदद करे, और उसको घोड़े और विशाल सेना भेजे। क्‍या वह अपने विद्रोह में सफल होगा? ऐसे काम करनेवाला मनुष्‍य क्‍या भाग कर अपने प्राण बचा सकेगा? सन्‍धि की शर्तों को तोड़नेवाला क्‍या बच सकेगा?


बीज में अंकुर फूटे, और वह छोटी फैलनेवाली अंगूर-बेल में बदल गया। बेल की शाखाएं बाज की ओर झुकीं, किन्‍तु उसकी जड़ें वहीं रहीं, जहां बीज बोया गया था, यों वह अंगूर-बेल बन गया; उसमें शाखाएं फूटीं और पत्ते निकले।


बाज ने उसको उपजाऊ भूमि पर लगाया था, उसने उसको उमड़ते जलाशय के तट पर बोया था, कि उसके अंकुर फूटें, बेल बने, और बेल में शाखाएं निकलें, और वह अंगूर के गुच्‍छों से भर जाए और फलवंत अंगूर-बेल बने।


जल उसको हरा-भरा रखता है; भूमितल का जल उसको बढ़ाता है। जहां वह रोपा जाता है, उसके आस-पास नदियाँ बहती हैं। नदियों की नहरें वन के सब वृक्षों तक पहुंचती हैं।