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नीतिवचन 22:4 - पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI)

जो मनुष्‍य नम्र है, और प्रभु की भक्‍ति करता है, उसको प्रतिफल में मिलता है: धन, सम्‍मान और दीर्घ जीवन।

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पवित्र बाइबल

जब व्यक्ति विनम्र होता है यहोवा का भय धन दौलत, आदर और जीवन उपजता है।

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Hindi Holy Bible

नम्रता और यहोवा के भय मानने का फल धन, महिमा और जीवन होता है।

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पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI)

नम्रता और यहोवा के भय मानने का फल धन, महिमा और जीवन होता है।

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नवीन हिंदी बाइबल

नम्रता का और यहोवा का भय मानने का प्रतिफल धन, सम्मान और जीवन हैं।

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सरल हिन्दी बाइबल

विनम्रता तथा याहवेह के प्रति श्रद्धा का प्रतिफल होता है; धन संपदा, सम्मान और जीवन.

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इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019

नम्रता और यहोवा के भय मानने का फल धन, महिमा और जीवन होता है।

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नीतिवचन 22:4
17 क्रॉस रेफरेंस  

प्रभु की भक्‍ति करने से जीवन प्राप्‍त होता है; जो मनुष्‍य प्रभु की भक्‍ति करता है वह निश्‍चिंत निवास करता है, उस पर विपत्ति के बादल नहीं मंडराते।


बुद्धिमान मनुष्‍य के घर में अपार धन-दौलत जमा रहती है, किन्‍तु मूर्ख मनुष्‍य उसको पानी की तरह बहा देता है।


धार्मिकता और करुणा की खोज में रहनेवाला मनुष्‍य दीर्घ जीवन और सम्‍मान पाता है।


चतुर मनुष्‍य खतरे को देख कर अपने को छिपा लेता है; पर भोला मनुष्‍य खतरे के मुंह में चला जाता है, और कष्‍ट भोगता है।


कुटिल मनुष्‍य के मार्ग में कांटे और जाल बिछे रहते हैं; जो मनुष्‍य अपने प्राण की रक्षा करना चाहता है, वह उनसे दूर रहता है।


जो मनुष्‍य घमण्‍ड से भरा है, उसको नीचा देखना पड़ता है, किन्‍तु विनम्र मनुष्‍य सम्‍मान का पात्र बनता है।


उसके दाहिने हाथ में दीर्घायु, और बाएँ हाथ में सम्‍पत्ति और सम्‍मान हैं।


आकर्षण में धोखा हो सकता है, और शरीर की सुन्‍दरता भी निस्‍सार है; किन्‍तु जो स्‍त्री प्रभु का भय मानती है वह प्रशंसा के योग्‍य है।


ओ इस्राएल, तेरे युग में प्रभु स्‍थायित्‍व का आधार होगा; वह तुझे पूर्ण उद्धार, अपार बुद्धि और असीमित ज्ञान प्रदान करेगा। प्रभु का भय ही तेरा एकमात्र धन है!


सर्वोच्‍च और महान परमेश्‍वर, जिसका नाम पवित्र है, जो अनन्‍तकाल तक जीवित है, यह कहता है : ‘मैं उच्‍च और पवित्र स्‍थान में निवास करता हूं, पर मैं उसके साथ भी विद्यमान रहता हूं जिसकी आत्‍मा विदीर्ण और विनम्र है। मैं उस विनम्र व्यक्‍ति की आत्‍मा को संजीव करता हूं, और उसके विदीर्ण हृदय को पुनर्जीवित।


“उसी समय मेरा विवेक लौट आया। मेरे राज्‍य की कीर्ति के लिए मेरा प्रताप और वैभव मुझे पुन: प्राप्‍त हो गए। मेरे मंत्रियों और सामंतों ने मुझे जंगल में से ढूंढ़ निकाला, और मैं पुन: अपने राज्‍य के ऊपर राजा के रूप में प्रतिष्‍ठित हो गया। मेरी महानता और बढ़ गई।


तुम सब से पहले परमेश्‍वर के राज्‍य और उसकी धार्मिकता की खोज करो तो ये सब वस्‍तुएँ भी तुम्‍हें मिल जाएँगी।


शरीर के व्‍यायाम से कुछ लाभ तो होता है, किन्‍तु भक्‍ति से जो लाभ मिलता है, वह असीम है; क्‍योंकि वह जीवन का आश्‍वासन देती है, इहलोक में भी और परलोक में भी।


प्रभु के सामने दीन-हीन बनो तो वह तुम्‍हें ऊंचा उठायेगा।


वह प्रचुर मात्रा में अनुग्रह भी देता है, जैसा कि धर्मग्रन्‍थ में लिखा है, “परमेश्‍वर घमण्‍डियों का विरोध करता, किन्‍तु विनीतों को अनुग्रह प्रदान करता है।”